रूस को क्यों है भारत की जरूरत?
16 April 2024
टेस्ला की कारों के लिए सेमीकंडक्टर चिप बनाएगी टाटा।
16 April 2024
Jawaharlal Nehru Biography in Hindi : जवाहरलाल नेहरू की जीवनी हिंदी में : शिक्षा एवं विचार स्वागत है आपका आज के इस लेख में हम जानेंगे Jawaharlal Nehru Biography in Hindi साथ ही इससे जुड़े शिक्षा एवं विचार के बारें में भी चर्चा की जाएगी अतः आपसे निवेदन है कि ...
“आज से मैं तुम सब का सर्वशक्तिशाली इकलौता भगवान हूँ!” सेक्रेड गेम्स का यह संवाद केवल एक संवाद नहीं, कुछ लोगों की मानसिकता का भी परिचायक है, जिनके लिए एक ही वाक्य सार्थक है – हम ही हम है, बाकी सब पानी कम है। अब तक ये उपाधि निर्विरोध रूप ...
बिहार की सत्ता पर विराजमान नीतीश कुमार अपने बयानों के लिए सुर्खियों में बने रहते हैं लेकिन इस बार उनका एक भाषण चर्चाओं के केंद्र में है। दरअसल,नीतीश कुमार इन दिनों बहुत व्यथा में दिख रहे हैं और उनकी व्यथा है जनता में उनकी लोकप्रियता का कम होना और जिस ...
इंदिरा गांधी सरकार के दौरान 'कच्चातिवु' द्वीप श्रीलंका को दिए जाने का मुद्दा 50 साल बाद लोकसभा चुनाव में भी गूंज रहा है। इस मुद्दे पर बीजेपी कांग्रेस पर हमलावर है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी तकरीबन हर रैलियों में इस मुद्दे को उठाते हुए कांग्रेस को घेर रहे हैं। उस पर ...
देश में फिर से एक बार सीएए को लेकर चर्चा तेज हो गई है लेकिन क्या आपको पता है कि कैसे नेहरू-लियाकत समझौते की विफलता ने नागरिकता संशोधन अधिनियम(सीएए) की शुरुआत की? आइए आज हम आपको इस लेख के माध्यम से यह समझाते हैं। 1950 में हुआ था नेहरू-लियाकत समझौता ...
Roy Bucher: सोशल मीडिया ने इतना तो सुनिश्चित कर दिया है कि भारत के प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू को लोग पहले की भांति सम्मान की दृष्टि से शायद ही देख पाएँ। पिछले कई वर्षों में ऐसे ऐसे तथ्य निकलकर सामने आए हैं, जिससे ये सिद्ध होता है कि जवाहरलाल नेहरू कुछ ...
हम भारतीयों की एक बड़ी खराब आदत है: नकलची बंदर होने की। आजकल तो विदेश नीति से लेकर उत्पाद निर्माण में भी स्वदेशी और आत्मनिर्भरता को प्राथमिकता दी जा रही है। परंतु एक समय वो भी था, जब हर जगह हमारे नेता और राजनयिक भारतीयता को दुतकारते थे, चाहे मौखिक ...
साल 1947 में भारत की आजादी के साथ-साथ एशिया और अफ्रीका के विभिन्न देश कई सालों की औपनिवेशिक परतंत्रता से स्वतंत्र हो रहे थे। समूचे एशिया और अफ्रीका से सूट-बूट पहनने वाले पश्चिमी लुटेरे धीरे-धीरे अपने घर की ओर प्रस्थान करने लगे थे। जनता ने जिस स्वराज की स्थापना का ...
सत्ता अंग्रेजों के हाथों से भारतीयों के हाथों में आ गई थी। देश आजाद हो चुका था। स्वतंत्रता आंदोलनों में भाग लेने वाले सभी प्रभावशाली लोग संविधान सभा से होते हुए बड़े-बड़े पदों पर आसीन हो गए थे। अंग्रेजों के विरुद्ध आंदोलन करने वाले नेता एक दूसरे की कुर्सी खींचने ...
भारत और चीन के बीच का सीमा विवाद आए दिन चर्चा में बना रहता है। हाल ही में तवांग में भारतीय और चीनी सैनिकों के बीच झड़प की खबरें सामने आई थी, जिसमें भारत के शूरवीरों ने 'नन्हे मुन्हे' चीनी सैनिकों को जमकर धोया। परन्तु सीमा विवाद जब भी जोर ...
यह बहुत दुखद है कि समृद्ध भारत ने अरबों से लेकर अंग्रेजों तक सभी के आक्रमण सहे, इस दौरान भारत को बहुत लूटा गया और अंततः संघर्ष के बाद जब आजादी मिली तो हम गरीब और पिछड़े देशों की श्रेणी में आ गए। परन्तु इस स्थिति से उभरने के लिए ...
भारत एक समृद्ध सांस्कृतिक विविधता और 130 करोड़ की आबादी वाला देश है, यही नहीं दुनिया में जहां भी भारतीय गए हैं वहां उन्हें उनकी बुद्धिमत्ता और कार्य कुशलता के लिए सराहा गया है, फिर चाहे वह अमेरिका या ऑस्ट्रेलिया ही क्यों न हो। परन्तु जब खेल की बात आती ...