TFIPOST English
TFIPOST Global
tfipost.in
tfipost.in
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
    • सभी
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
    Bajrang Punia

    बजरंग पूनिया ने चुपचाप मांगी माफी, जानिए क्या था मानहानि का मामला?

    कांग्रेस और ममता ने BJP के कथित अभियान को लेकर सवाल उठाए थे

    ‘घर-घर सिंदूर’: दैनिक भास्कर ने तो माफी मांग ली, ममता और कांग्रेस कब मांगेंगे?

    Kolkata Police arrested Sharmistha Panoli from Gurugram

    माफी से नहीं बनी बात! शर्मिष्ठा पनौली गुरुग्राम से गिरफ्तार, कोलकाता पुलिस का एक्शन

    Corona New Variant

    कोरोना का तांडव शुरू: देशभर में 24 घंटे के भीतर 7 लोगों की मौत, दिल्ली में बुजुर्ग ने तोड़ा दम

    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • सभी
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
    6.5% GDP वृद्धि का अनुमान

    वित्त वर्ष 2026 में 6.5% GDP वृद्धि का अनुमान: घरेलू मांग में सुधार भारत की विकास रफ्तार का प्रमुख इंजन बन सकता है – क्रिसिल

    भारत ने रचा इतिहास, $4 ट्रिलियन की GDP के साथ बना दुनिया की चौथी बड़ी आर्थिक महाशक्ति

    भारत ने रचा इतिहास, $4 ट्रिलियन की GDP के साथ बना दुनिया की चौथी बड़ी आर्थिक महाशक्ति

    वैश्विक अस्थिरता के बीच मजबूत भारतीय अर्थव्यवस्था, वित्त वर्ष 2025 की चौथी तिमाही में GDP वृद्धि 6.5% तक पहुंचने की संभावना

    वैश्विक अस्थिरता के बीच मजबूत भारतीय अर्थव्यवस्था, वित्त वर्ष 2025 की चौथी तिमाही में GDP वृद्धि 6.5% तक पहुंचने की संभावना

    चीन-तुर्की को बहुत महंगी पड़ रही पाकिस्तान से हमदर्दी

    चीन-तुर्की को बहुत महंगी पड़ रही पाकिस्तान से हमदर्दी: सेलेबी के शेयर दो दिन में 20% लुढ़के तो वहीं चीनी डिफेंस मार्केट में हाहाकार

    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • सभी
    • आयुध
    • रणनीति
    Air Chief Marshal Amarpreet Singh

    एयरचीफ मार्शल अमरप्रीत सिंह की चिंता जायज, जानिए क्यों समय से पूरे नहीं हो पाते रक्षा प्रोजेक्ट?

    2047 तक छह गुना बढ़ जाएगा भारत का रक्षा उत्पादन, ₹32 लाख करोड़ होगा डिफेंस बजट: रिपोर्ट

    2047 तक छह गुना बढ़ जाएगा भारत का रक्षा उत्पादन, ₹32 लाख करोड़ होगा डिफेंस बजट: रिपोर्ट

    Brahmos

    ब्रह्मोस को लेकर रूस के राजदूत का बड़ा दावा! भारत के साथ मिलकर बना रहे खतरनाक हथियार

    आधुनिक सैन्य प्रणालियों का निरीक्षण करते हुए सेनाध्यक्ष जनरल उपेंद्र द्विवेदी

    ऑपरेशन सिंदूर में पहली बार इस्तेमाल होने वाले ‘मेड इन इंडिया’ लूटरिंग म्यूनिशन्स का सेनाध्यक्ष ने किया मुआयना

    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • सभी
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
    कैलाशहर एयरपोर्ट

    ‘चिकन नेक’ तक आया ड्रैगन तो भारत ने 3 दशक पुराने ‘हथियार’ को फिर से किया एक्टिव, जिसने कभी PAK के किये थे दो टूकड़े अब चीन को देगा मुंहतोड़ जवाब

    operation sindoor china pakistan

    ऑपरेशन सिंदूर के बाद धर्म संकट में ड्रैगन! क्या हथियार व्यापार में पाकिस्तान को धोखा दे रहा है चीन?

    व्हाइट हाउस प्रेस सचिव कैरोलिन लेविट ने वॉशिंगटन स्थित व्हाइट हाउस में एक प्रेस ब्रीफिंग के दौरान संबोधित किया (फोटो: सिन्हुआ)

    White House ने एक और जंग रुकवाने का किया दावा, इज़रायल ने अस्थायी युद्धविराम को दी हरी झंडी, गाज़ा में जगी शांति की उम्मीद!

    America Chine communist visas

    कम्युनिस्ट विचार पर अमेरिका का प्रहार, चीनी छात्रों का वीजा होगा रद्द; रुबियो ने बताया कारण

    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • सभी
    • इतिहास
    • संस्कृति
    संघ के दूसरे प्रमुख गोलवालकर और जवाहरलाल नेहरू

    नेहरू की निष्क्रियता से 1947 के बाद भी 14 वर्षों तक गुलाम रहा गोवा, RSS ने आज़ादी में निभाई अहम भूमिका

    1950 में जेल से रिहा किए जाने के बाद सावरकर (चित्र: savarkar.org)

    अंग्रेज़ों की ही नहीं, नेहरू सरकार की कैद में भी महीनों रहे थे सावरकर

    कंबोडिया के बंतेय श्री मंदिर के चौखट पर बैठे जवाहरलाल नेहरू, नवंबर 1954

    ‘महाभारत में बीफ परोसने का उल्लेख’: जानें हिंदुत्व, रामायण, महाभारत और गीता को लेकर क्या थी नेहरू की राय?

    करियप्पा को उनके रिश्तेदार 'चिम्मा' कहकर बुलाते थे

    नेहरू के विरोध के बावजूद भारतीय सेना के पहले हिंदुस्तानी कमांडर-इन-चीफ कैसे बने करियप्पा? अंग्रेज अफसरों को फौज की कमान क्यों सौंपना चाहते थे नेहरू?

    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • सभी
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
    अमेरिका में iPhone बनाना एक जटिल प्रक्रिया हो सकती है

    अमेरिका में बनने लगे iPhone तो क्या हो सकती है कीमत?

    Saudi Arabia AI Clinic

    क्या डॉक्टरों की जगह ले रहा है AI? सऊदी अरब में खुला पहला आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस क्लीनिक

    जो बाइडन को हुआ ‘तेज़ी से फैलने वाला’ प्रोस्टेट कैंसर; जानें क्या हैं इसके लक्षण और कैसे कर सकते हैं बचाव?

    जो बाइडन को हुआ ‘तेज़ी से फैलने वाला’ प्रोस्टेट कैंसर; जानें क्या हैं इसके लक्षण और कैसे कर सकते हैं बचाव?

    IPL 2025 Suspended

    भारत पाकिस्तान तनाव के बीच IPL-2025 सस्पेंड, बचे हुए थे 16 मैच

    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
tfipost.in
  • राजनीति
    • सभी
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
    Bajrang Punia

    बजरंग पूनिया ने चुपचाप मांगी माफी, जानिए क्या था मानहानि का मामला?

    कांग्रेस और ममता ने BJP के कथित अभियान को लेकर सवाल उठाए थे

    ‘घर-घर सिंदूर’: दैनिक भास्कर ने तो माफी मांग ली, ममता और कांग्रेस कब मांगेंगे?

    Kolkata Police arrested Sharmistha Panoli from Gurugram

    माफी से नहीं बनी बात! शर्मिष्ठा पनौली गुरुग्राम से गिरफ्तार, कोलकाता पुलिस का एक्शन

    Corona New Variant

    कोरोना का तांडव शुरू: देशभर में 24 घंटे के भीतर 7 लोगों की मौत, दिल्ली में बुजुर्ग ने तोड़ा दम

    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • सभी
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
    6.5% GDP वृद्धि का अनुमान

    वित्त वर्ष 2026 में 6.5% GDP वृद्धि का अनुमान: घरेलू मांग में सुधार भारत की विकास रफ्तार का प्रमुख इंजन बन सकता है – क्रिसिल

    भारत ने रचा इतिहास, $4 ट्रिलियन की GDP के साथ बना दुनिया की चौथी बड़ी आर्थिक महाशक्ति

    भारत ने रचा इतिहास, $4 ट्रिलियन की GDP के साथ बना दुनिया की चौथी बड़ी आर्थिक महाशक्ति

    वैश्विक अस्थिरता के बीच मजबूत भारतीय अर्थव्यवस्था, वित्त वर्ष 2025 की चौथी तिमाही में GDP वृद्धि 6.5% तक पहुंचने की संभावना

    वैश्विक अस्थिरता के बीच मजबूत भारतीय अर्थव्यवस्था, वित्त वर्ष 2025 की चौथी तिमाही में GDP वृद्धि 6.5% तक पहुंचने की संभावना

    चीन-तुर्की को बहुत महंगी पड़ रही पाकिस्तान से हमदर्दी

    चीन-तुर्की को बहुत महंगी पड़ रही पाकिस्तान से हमदर्दी: सेलेबी के शेयर दो दिन में 20% लुढ़के तो वहीं चीनी डिफेंस मार्केट में हाहाकार

    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • सभी
    • आयुध
    • रणनीति
    Air Chief Marshal Amarpreet Singh

    एयरचीफ मार्शल अमरप्रीत सिंह की चिंता जायज, जानिए क्यों समय से पूरे नहीं हो पाते रक्षा प्रोजेक्ट?

    2047 तक छह गुना बढ़ जाएगा भारत का रक्षा उत्पादन, ₹32 लाख करोड़ होगा डिफेंस बजट: रिपोर्ट

    2047 तक छह गुना बढ़ जाएगा भारत का रक्षा उत्पादन, ₹32 लाख करोड़ होगा डिफेंस बजट: रिपोर्ट

    Brahmos

    ब्रह्मोस को लेकर रूस के राजदूत का बड़ा दावा! भारत के साथ मिलकर बना रहे खतरनाक हथियार

    आधुनिक सैन्य प्रणालियों का निरीक्षण करते हुए सेनाध्यक्ष जनरल उपेंद्र द्विवेदी

    ऑपरेशन सिंदूर में पहली बार इस्तेमाल होने वाले ‘मेड इन इंडिया’ लूटरिंग म्यूनिशन्स का सेनाध्यक्ष ने किया मुआयना

    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • सभी
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
    कैलाशहर एयरपोर्ट

    ‘चिकन नेक’ तक आया ड्रैगन तो भारत ने 3 दशक पुराने ‘हथियार’ को फिर से किया एक्टिव, जिसने कभी PAK के किये थे दो टूकड़े अब चीन को देगा मुंहतोड़ जवाब

    operation sindoor china pakistan

    ऑपरेशन सिंदूर के बाद धर्म संकट में ड्रैगन! क्या हथियार व्यापार में पाकिस्तान को धोखा दे रहा है चीन?

    व्हाइट हाउस प्रेस सचिव कैरोलिन लेविट ने वॉशिंगटन स्थित व्हाइट हाउस में एक प्रेस ब्रीफिंग के दौरान संबोधित किया (फोटो: सिन्हुआ)

    White House ने एक और जंग रुकवाने का किया दावा, इज़रायल ने अस्थायी युद्धविराम को दी हरी झंडी, गाज़ा में जगी शांति की उम्मीद!

    America Chine communist visas

    कम्युनिस्ट विचार पर अमेरिका का प्रहार, चीनी छात्रों का वीजा होगा रद्द; रुबियो ने बताया कारण

    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • सभी
    • इतिहास
    • संस्कृति
    संघ के दूसरे प्रमुख गोलवालकर और जवाहरलाल नेहरू

    नेहरू की निष्क्रियता से 1947 के बाद भी 14 वर्षों तक गुलाम रहा गोवा, RSS ने आज़ादी में निभाई अहम भूमिका

    1950 में जेल से रिहा किए जाने के बाद सावरकर (चित्र: savarkar.org)

    अंग्रेज़ों की ही नहीं, नेहरू सरकार की कैद में भी महीनों रहे थे सावरकर

    कंबोडिया के बंतेय श्री मंदिर के चौखट पर बैठे जवाहरलाल नेहरू, नवंबर 1954

    ‘महाभारत में बीफ परोसने का उल्लेख’: जानें हिंदुत्व, रामायण, महाभारत और गीता को लेकर क्या थी नेहरू की राय?

    करियप्पा को उनके रिश्तेदार 'चिम्मा' कहकर बुलाते थे

    नेहरू के विरोध के बावजूद भारतीय सेना के पहले हिंदुस्तानी कमांडर-इन-चीफ कैसे बने करियप्पा? अंग्रेज अफसरों को फौज की कमान क्यों सौंपना चाहते थे नेहरू?

    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • सभी
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
    अमेरिका में iPhone बनाना एक जटिल प्रक्रिया हो सकती है

    अमेरिका में बनने लगे iPhone तो क्या हो सकती है कीमत?

    Saudi Arabia AI Clinic

    क्या डॉक्टरों की जगह ले रहा है AI? सऊदी अरब में खुला पहला आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस क्लीनिक

    जो बाइडन को हुआ ‘तेज़ी से फैलने वाला’ प्रोस्टेट कैंसर; जानें क्या हैं इसके लक्षण और कैसे कर सकते हैं बचाव?

    जो बाइडन को हुआ ‘तेज़ी से फैलने वाला’ प्रोस्टेट कैंसर; जानें क्या हैं इसके लक्षण और कैसे कर सकते हैं बचाव?

    IPL 2025 Suspended

    भारत पाकिस्तान तनाव के बीच IPL-2025 सस्पेंड, बचे हुए थे 16 मैच

    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
tfipost.in
tfipost.in
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • रक्षा
  • विश्व
  • ज्ञान
  • बैठक
  • प्रीमियम

गुजरात चुनाव में अमित शाह के नए दाव ने किया विपक्षियों को चारों खाने चित्त

Nitesh Kumar Harne द्वारा Nitesh Kumar Harne
23 October 2017
in मत
गुजरात चुनाव, पाटीदार
Share on FacebookShare on X

गुजरात चुनाव को लेकर राज्य की राजनीतिक गतिविधियाँ अपने चरम पर है जैसे-जैसे राज्य में विधानसभा चुनाव नजदीक आ रहे है, राजनीतिक उथल-पुथल बढ़ने लगी है और चुनावी माहौल गरमाने लगा है। गुजरात चुनाव को इसीलिए भी महत्वपूर्ण और दिलचस्प बना दिया गया है क्योंकि गुजरात नरेंद्र मोदी के गुजरात मॉडल के लिए तो विख्यात रहा ही है लेकिन इसलिए भी है कि इसी राज्य ने देश को एक कुशल प्रधानमंत्री भी दिया है। यही नही बल्कि भारतीय जनता पार्टी के चाणक्य कहे जाने वाले रणनीतिकार अमित शाह का भी गृह राज्य है। एक के बाद एक लगातार संसद से पंचायत तक के चुनाव भाजपा को जितवाने के बाद यह देखना होगा कि वह खुद के गृह राज्य में बीजेपी का विजय रथ को कैसे आगे बढ़ा पाएंगे, क्योंकि इसी मेनस्ट्रीम मीडिया द्वारा पालिका से लेकर विधानसभा तक हर चुनाव को मोदी के लिए साख का चुनाव बना दिया जाता है। वही राहुल गांधी के चुनाव दर चुनाव मात खाने के बाद भी राहुल में इन्हें हर चुनाव के पहले एक नई रणनीति और प्रतिभा नजर आने लगती है। तो अपनी परम्परा को आगे बढ़ाते हुए मीडिया द्वारा गुजरात चुनाव भी अमित शाह और मोदी की साख का चुनाव माना जायेगा। ऐसे में तमाम चुनौतियों का सामना करते हुए जहाँ अमित शाह जीत की हामी भर रहे है तो वहीं कांग्रेस को पाटीदार नेता हार्दिक पटेल के समर्थन मिलने से प्रदेश कांग्रेस गदगद है।

वादों और दावों का दौर चला है तो बीजेपी भी इसमे पीछे नही है। लेकिन यह चुनाव एक और मामले में दिलचस्प हो जाता है जब पाटीदार आंदोलन से निकलें युवा नेता आपस में ही बाट जाते है। जहाँ हार्दिक पटेल कांग्रेस को समर्थन कर रहे है वहीं उनके साथी रहे रेशमा और वरुण पटेल चुनाव के तुरंत पहले बीजेपी में शामिल हो गये।

संबंधितपोस्ट

‘घर-घर सिंदूर’: दैनिक भास्कर ने तो माफी मांग ली, ममता और कांग्रेस कब मांगेंगे?

‘ऑपरेशन शील्ड’: पाकिस्तान की सीमा से सटे कई राज्यों में आज होगी मॉक ड्रिल

‘पाकिस्तान का PR कर रही कांग्रेस’: राहुल गांधी के बाद तेलंगाना के CM रेवंत रेड्डी ने पूछा- ‘भारत के कितने राफेल गिरे?’

और लोड करें

इसके बाद पाटीदार आन्दोलन की हवा निकल गयी और यह एक राजनितिक आन्दोलन ही प्रतीत होता दिख रहा है।

बीजेपी में शामिल हुए पाटीदार आन्दोलन के दो बड़े नेता :

गुजरात चुनाव को लेकर राजनीती पूरी तरह गरमा गयी है। इस बार यह इसलिए भी ज्यादा दिलचस्प होता दिखाई दे रहा है क्योंकि पाटीदार आन्दोलन से निकले नेताओं में से कुछ बीजेपी में शामिल हो गए तो कुछ कांग्रेस को समर्थन करने लगे जिससे तमाम समीकरण बदलने लगे है। इससे पहले पाटीदार नेता रेशमा पटेल और वरुण पटेल ने शनिवार को अहमदाबाद में भाजपा कार्यालय में अमित शाह से मुलाकात की। दोनों भाजपा में शामिल हो गए। वरूण और रेशमा हार्दिक पटेल की पाटीदार अनामत आंदोलन समिति का प्रमुख चेहरा थे और आंदोलन के दौरान सत्तारूढ़ बीजेपी के आलोचक रहे है। अब दोनों नेताओं के भाजपा में शामिल होने से हार्दिक पटेल के लिए इसे तगड़ा झटका माना जाए तो अतिशयोक्ती नहीं होगा। उधर अल्पेश ठाकुर भी कांग्रेस में शामिल हो चुके हैं। इससे पहले यह भी खबर थी कि अल्पेश आने वाले समय में गुजरात चुनाव को लेकर अपनी रणनीति की घोषणा कर सकते हैं। यह भी कयास लगाए जा रहे थे कि वे नई राजनीतिक पार्टी भी बना सकते हैं।

गुजरात चुनाव की सुगबुगाहट के बीच एक नाटकीय घटनाक्रम में पटेल आरक्षण आंदोलन के नेता हार्दिक पटेल के महत्वपूर्ण सहयोगी वरूण पटेल और रेशमा पटेल सत्ता पक्ष बीजेपी में शामिल हो जाने से बीजेपी इसे अपनी बड़ी जीत मान रही है क्योंकि गुजरात में पाटीदार आन्दोलन बीजेपी के लिए बड़ी चुनौती था। जिसमे सेंध लगाने में अमित शाह कामयाब होती हुए।

पूरे घटनाक्रम की दिलचस्प बात यह है कि यह घटनाक्रम कांग्रेस अध्यक्ष भरतसिंह सोलंकी के हार्दिक पटेल को उनकी पार्टी के साथ हाथ मिलाने का न्योता देने के कुछ घंटों बाद हुआ है। सोलंकी ने आगामी विधानसभा चुनाव में कांग्रेस के राज्य की सत्ता में आने पर ओबीसी वर्ग को 20 फीसदी अतिरिक्त आरक्षण देने का वादा किया था। मतलब जैसे ही हार्दिक पटेल ने कांग्रेस को समर्थन देने का मन बनाया उनके साथी ने भाजपा का दामन थाम लिया।

क्या था पाटीदार आन्दोलन ?

पाटीदार समाज के आरक्षण की मांग करते हुए हार्दिक पटेल ने पिछले साल बड़ा आन्दोलन खड़ा किया था जिनके अगुवाई में पाटीदार अनामत आंदोलन समिति (पीएएएस) बनाई गयी। आरक्षण की मांग को लेकर पिछले साल हुए पटेल आंदोलन के दौरान जान माल की भयानक हानि हुयी थी और 14 लोगों को अपनी जान गवानी पड़ी थी। इसी आन्दोलन में हार्दिक के सहयोगी और नेता रहे रेशमा और वरुण प्रमुख चेहरा थे। लेकिन हार्दिक पटेल से नाराजगी के बाद रेशमा और वरुण आंदोलन से अलग हो गए थे।

क्या है गुजरात के जातीगत समीकरण :

हार्दिक पटेल, अल्पेश ठाकोर और जिग्नेश मेवाणी, नरेंद्र मोदी के प्रधानमंत्री बनने के बाद से गुजरात बीजेपी के चुनौती बने हुए हैं। कांग्रेस इन तीनों युवा नेताओं को अपने पाले में करने की कोशिश लगातार कर रही है। आपको बता दें कि गुजरात में पिछड़ी जाति की आबादी करीब 40 प्रतिशत, पटेल कुणबी पाटीदार की आबादी 12.16 प्रतिशत है। दलित जातियों की गुजरात में अन्य राज्यों से काफी कम मात्र 7.17 प्रतिशत आबादी है। हार्दिक पटेल पाटीदार नेता है तो अल्पेश ओबीसी समाज के नेता है। जिग्नेश मेवानी दलित नेता के रूप में उभर कर आये है।

हार्दिक पटेल के समर्थन से कांग्रेस गदगद:

कांग्रेस ने पाटीदार आंदोलन के नेता हार्दिक पटेल को गुजरात में विधानसभा चुनाव लड़ने का न्योता दिया है। जिसके बाद शनिवार को एक निजी चैनल से बातचीत करते हुए हार्दिक ने कहा कि वह बीजेपी को हराने के लिए विधानसभा चुनाव में कांग्रेस का साथ देंगे। गौरतलब है कि कांग्रेस ने गुजरात में बीजेपी को हराने के लिए हार्दिक पटेल, जिग्नेश मेवाणी और अल्पेश ठाकोर को एक साथ आने का न्योता दिया था। इस बीच गुजरात की पिछड़ी जातियों के युवा नेता अल्पेश ठाकोर ने कांग्रेस में शामिल होने का ऐलान किया है। जिससे कांग्रेस दो बड़े नेताओं का साथ पाकर गदगद है और अपनी जीत का दावा करही है।

हार्दिक पटेल को बताया गद्दार :

अहमदाबाद में रेशमा और वरुण ने बीजेपी में शामिल होने के बाद हार्दिक पटेल को गद्दार बताया। पाटीदार आंदोलन दो गुटों में बंटने के बाद बीजेपी में शामिल हुए पाटीदार नेताओं ने कहा कि हार्दिक ‘कांग्रेस का एजेंट’ बन गया है और मौजूदा राज्य सरकार को उखाड़ फेंकने के लिए आंदोलन का इस्तेमाल करने का प्रयास कर रहा है। वहीं पाटीदार आन्दोलन से निकली युवा नेता रश्मी पटेल ने भाजपा ज्वाइन करने के बाद कहा ‘‘हमारा आंदोलन ओबीसी कोटा के तहत आरक्षण के बारे में था। यह बीजेपी को उखाड़कर उसकी जगह कांग्रेस को सत्ता में लाने के लिए नहीं था। जहां बीजेपी ने हमेशा समुदाय का समर्थन किया है और हमारी ज्यादातर मांगे मान ली हैं। कांग्रेस सिर्फ पटेलों को वोट बैंक के तौर पर इस्तेमाल करने का प्रयास कर रही है | हम इस तरह की दुर्भावनापूर्ण साजिश का हिस्सा नहीं बनना चाहते हैं।’’ रेशमा और वरुण के बीजेपी में शामिल होने पर हार्दिक ने अपना दुःख व्यक्त करते हुए ट्वीट किया है ‘कनखजूरा के पैर टूट जाने के बावजूद भी कनखजुरा दौड़ेगा ! मेरें साथ जनता हैं। जनता का साथ है तब तक लड़ता रहूँगा !’

यह कई मायनों में भाजपा के रणनीतिकार अमित शाह की बड़ी जीत है क्योंकि माना जाता है आज भी राहुल गांधी के नेतृत्व में कांग्रेस भाजपा के लिए गुजरात मे कोई चुनौती खड़ी नही कर पाई है।

भले ही मोदी के प्रधानमंत्री बन जाने के बाद गुजरात भाजपा थोड़ी कमजोर जरूर हुई लेकिन देर न करते भाजपा ने आनंदी बेन को हटा विजय रूपानी को मुख्यमंत्री बनाकर समय रहते स्थिति को भांप काबू कर लिया। ऐसे में भाजपा के लिए पाटीदार आन्दोलन के हार्दिक पटेल ही बड़ी चुनौती बनकर उभरे थे। हालांकि पाटीदार जाट और मराठा आंदोलन, आन्दोलन कम और भाजपा का विजय रथ रोकने के लिए विपक्ष द्वारा खड़ा किया गया आंदोलन ज्यादा नजर आता है। बहरहाल हार्दिक पटेल ने पहले ही संकेत दे दिए थे कि यह आंदोलन सिर्फ गुजरात मे भाजपा को रोकने के लिए ही है। ऐसे में भाजपा के लिए एक बड़ी चुनौती थी हार्दिक पटेल और उनका आंदोलन जिसकी एक बड़ी धुरी थे वरुण और रेशमा पटेल और इन दोनों युवा नेताओं के भाजपा में शामिल होने के बाद भाजपा विपक्षियों की इस चाल को भी नाकाम करने में कामयाब होती नजर आ रही है।

अब यह देखना मजेदार होगा की पाटीदार नेताओं के बंटवारे के बाद कौन सी पार्टी इसका लाभ ले पायेगी और इन्हें भुनाने में कामयाब हो पायेगी। अगर राहुल गांधी हार्दिक पटेल के सहयोग बाद भी गुजरात चुनाव में जैसे तैसे कुछ चमत्कार करने सफल हो जाते है तो आने वाले समय में इसे कांग्रेस के रिफार्म में रूप में देखा जायेगा और कांग्रेस में फिर राहुल के लिए आगे की चुनौतियाँ थोड़ी आसान होगी लेकिन वहीं अगर हार्दिक के समर्थन के बावजूद एक बार फिर विफल होते है तो कांग्रेस अपने कई बड़े चेहरे खो देगी और राहुल खुद कांग्रेस के लिए एक बड़ी चुनौती माने जाने लग जायेंगे। बररहाल तो यही कहना सही रहेगा कि अमित शाह के राजनीतिक सूझबूझ ने फिर से भाजपा के एक नए परन्तु तगड़े विपक्षी दल को तहस नहस कर दिया है।

Tags: कांग्रेसगुजरातगुजरात चुनावपाटीदारभाजपाहार्दिक पटेल
शेयर1564ट्वीटभेजिए
पिछली पोस्ट

बरखा दत्त ने एनडीटीवी के खिलाफ जो बताया वो सुन लिया हो तो अब ये सुनिए जो उसने नहीं बताया

अगली पोस्ट

बिना समर्थक का नेता देखा है क्या? नहीं देखा? इनसे मिलिए

संबंधित पोस्ट

Veer Savarkar Congress And Indira Gandhi
चर्चित

इंदिरा गांधी ने किया था सम्मान लेकिन वीर सावरकर से क्यों चिढ़ती है कांग्रेस?

28 May 2025

विनायक दामोदर सावरकर जिन्हें 'स्वातंत्र्यवीर' के रूप में जाना जाता है। वो भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के एक प्रमुख क्रांतिकारी थे। उनकी भूमिका और विचारधारा आज...

पाकिस्तान से खाड़ी देशों पर मंडराता तात्कालिक ख़तरा
मत

पाकिस्तान से खाड़ी देशों पर मंडराता तात्कालिक ख़तरा

14 May 2025

जैसे-जैसे खाड़ी देश आधुनिक बन रहे हैं और पाकिस्तान को पैसा देना बंद कर रहे हैं, इस्लामाबाद उन्हें “सच्चे इस्लाम” से भटकता हुआ मानता है।...

भारतीय सेना ने पाकिस्तान को करारा जवाब दिया है
मत

ऑपरेशन सिंदूर: झूठे नैरेटिव के शोर में सेना के पराक्रम की गूंज न दबने दें

14 May 2025

भारत-पाकिस्तान के बीच सैनिक संघर्ष रुकने पर हम देश की प्रतिक्रिया देखें तो बड़ा वर्ग, जिसमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, मोदी सरकार और भाजपा के समर्थक...

और लोड करें

Leave a Reply Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

I agree to the Terms of use and Privacy Policy.
This site is protected by reCAPTCHA and the Google Privacy Policy and Terms of Service apply.

इस समय चल रहा है

Pakistan needs money from IMF to feed their people

Pakistan needs money from IMF to feed their people

00:15:20

Vacate PoK and more: Steps Pakistan needs to take to avoid Indian military action

00:06:36

Taking The Wire’s Propaganda Piece on VP to the Cleaners – Feat. Prof. Kapil Kumar

00:09:19

Rahul Gandhi Undermines India’s Electoral Integrity as Trump Applauds It

00:07:09

Why Pakistan army chief reminds two nation theory| what is the plan| Waqf Bill |Asim Munir| Jinnah

00:13:02
फेसबुक एक्स (ट्विटर) इन्स्टाग्राम यूट्यूब
टीऍफ़आईपोस्टtfipost.in
हिंदी खबर - आज के मुख्य समाचार - Hindi Khabar News - Aaj ke Mukhya Samachar
  • About us
  • Careers
  • Brand Partnerships
  • उपयोग की शर्तें
  • निजता नीति
  • साइटमैप

©2025 TFI Media Private Limited

कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
TFIPOST English
TFIPOST Global

©2025 TFI Media Private Limited