क्यों चली “ज़रा हटके ज़रा बचके” और “सत्यप्रेम की कथा”?
इसमें कोई दो राय नहीं कि इस समय भारतीय सिनेमा में दमदार कॉन्टेन्ट का सूखा पड़ा है। पिछले वर्ष की तुलना में इस वर्ष अब तक पहले हाफ में पैन इंडिया उद्योग का प्रदर्शन भी असंतोषजनक रहा...
इसमें कोई दो राय नहीं कि इस समय भारतीय सिनेमा में दमदार कॉन्टेन्ट का सूखा पड़ा है। पिछले वर्ष की तुलना में इस वर्ष अब तक पहले हाफ में पैन इंडिया उद्योग का प्रदर्शन भी असंतोषजनक रहा...
जिस जगत में ऐसी दुनिया में जहां आइरनी और लौकिक न्याय सर्वोच्च है, वहां मोहम्मद जुबैर नाम का एक व्यक्ति उपस्थित है जिसने खुद को एक अजीब और हास्यास्पद स्थिति में पाया है। घृणा का बाजार सजाने...
वो कहते हैं, “money and time spent on brain never goes in drain”। लगता है देवेन्द्र फड़नवीस के लिए यही उनके जीवन का मूलमंत्र है। इस लेख में, आइए आपको ले जाते हैं महाराष्ट्र के अद्भुत राजनीतिक...
एक सस्पेंस थ्रिलर योग्य ट्विस्ट में, अलगाववादी संगठन सिख्स फॉर जस्टिस के पीछे का मास्टरमाइंड, रहस्यमय गुरपतवंत सिंह पन्नू हवा में गायब हो गया लगता है। हालाँकि उसके ठिकाने के बारे में अटकलें ज़ोरों पर हैं, लेकिन...
“देख तेरे संसार की हालत क्या हो गई भगवान, कितना बदल गया इंसान, रे कितना बदल गया इंसान!” टाटा इंस्टीट्यूट ऑफ सोशल साइंसेज (टीआईएसएस) ने हाल ही में बॉलीवुड में लैंगिक असमानता और कम प्रतिनिधित्व पर प्रकाश...
जिस युग में प्रोमोशनल शूटस तक के फोटो वायरल हो जाएँ, वहाँ पर मूल कथा को छुपाये रखना एक कला है, और ऐसा प्रतीत होता है कि निर्देशक समीर विद्वन्स ने इस विधा में महारत प्राप्त की...
“बोए पेड़ बबूल के, तो आम कहाँ ते होय?” शायद उद्धव ठाकरे को इस कथन का सबसे कड़वा अनुभव हो रहा होगा। इनके नेतृत्व में महाराष्ट्र प्रशासन ने किस प्रकार राज्य वासियों का जीवन नारकीय बनाया था,...
आज जब एक बड़बोले अमेरिकी राजनीतिज्ञ के बचाव में कुछ वामपंथी, विशेषकर कांग्रेसी राजनीतिज्ञों को आते हुए देखता हूँ, तो क्रोध भी आती है और हंसी भी। पर क्या आपको पता है कि दासता इनमें ऐसी घर...
इस समय तो टुकड़े-टुकड़े गैंग के लिए वर्तमान हालात वाकई बहुत खराब हैं। पीएम मोदी को बदनाम करने की उनकी कोशिशें भारत के साथ-साथ विदेशों में भी निष्फल रही है। इसी परिदृश्य में, सोरोस प्रेमी और कुख्यात...
“सीताराम चरित अति पावन, आज भी ये गीत सुनते हैं, तो नेत्रों से अश्रु स्वत: प्रवाहित होने लगते हैं। निस्स्वार्थ भाव से बने एक निश्छल धारावाहिक का प्रभाव ही कुछ ऐसा है, कि 36 वर्ष बाद भी...
आदिपुरुष के विवादास्पद मुद्दे पर इलाहाबाद हाईकोर्ट ने आक्रामक रुख अपनाते हुए फिल्म के रचनाकारों की जमकर क्लास लगाई। रामायण पर आधारित ओम राउत की इस फिल्म ने जनभावनाओं के साथ जो खिलवाड़ किया, उसपे इलाहाबाद हाईकोर्ट...
एक सनसनीखेज खुलासे में मुंबई पुलिस ने भारतीय क्रिकेटर पृथ्वी शॉ को छेड़छाड़ के आरोप से बरी कर दिया है। पुलिस ने कहा कि सीसीटीवी फुटेज, सीआईएसएफ स्टाफ सहित मौके पर मौजूद गवाहों के बयानों के अनुसार,...
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