TFIPOST English
TFIPOST Global
tfipost.in
tfipost.in
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
    • सभी
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
    रणनीति और दृष्टि: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की नेतृत्व की असली पहचान

    रणनीति और दृष्टि: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की नेतृत्व की असली पहचान

    नरेंद्र मोदी: वडनगर से विश्व मंच तक, राजनीति के नए युग की कहानी

    नरेंद्र मोदी: वडनगर से विश्व मंच तक, राजनीति के नए युग की कहानी

    लक्ष्मणपुर बाथे: एक रात, जब 58 ज़िंदगियां बुझा दी गईं, भारत के दलितों का शोकगीत

    लक्ष्मणपुर बाथे: एक रात, जब 58 ज़िंदगियां बुझा दी गईं, भारत के दलितों का शोकगीत

    “सैलून का मायाजाल” हिमाचल के लिए खतरे की घंटी

    “सैलून का मायाजाल” हिमाचल के लिए खतरे की घंटी

    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • सभी
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
    भारत-अमेरिका: टैरिफ युद्ध, कूटनीतिक खेल और बैकडोर डील की कहानी

    भारत-अमेरिका: टैरिफ युद्ध, कूटनीतिक खेल और बैकडोर डील की कहानी

    हालात : भू-राजनीतिक टकराव का अखाड़ा बना दक्षिण और दक्षिण-पूर्व एशिया

    हालात : भू-राजनीतिक टकराव का अखाड़ा बना दक्षिण और दक्षिण-पूर्व एशिया

    अब आया ऊंट पहाड़ के नीचे: मोदी की रणनीति, अमेरिका की बेचैनी और भारत का संतुलन

    अब आया ऊंट पहाड़ के नीचे: मोदी की रणनीति, अमेरिका की बेचैनी और भारत का संतुलन

    भारत का नया खेल: जानें ग्रेट निकोबार प्रोजेक्ट पर क्यों पैसे लगा रही सरकार

    भारत का नया खेल: जानें ग्रेट निकोबार प्रोजेक्ट पर क्यों पैसे लगा रही सरकार

    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • सभी
    • आयुध
    • रणनीति
    सीजफायर पर ट्रंप की किरकिरी, पाकिस्तान ने भी माना भारत का पक्ष

    सीजफायर पर ट्रंप की किरकिरी, पाकिस्तान ने भी माना भारत का पक्ष

    भूमध्यसागर में भारत की दहाड़: आईएनएस त्रिकंद ने बढ़ाया नौसैनिक परचम

    भूमध्यसागर में भारत की दहाड़: आईएनएस त्रिकंद ने बढ़ाया नौसैनिक परचम

    डील नहीं, डिज़ाइन, दलाली नहीं, डिलीवरी: बदलेगा भारत का रक्षा भविष्य

    “डील नहीं, डिज़ाइन, दलाली नहीं, डिलीवरी: बदलेगा भारत का रक्षा भविष्य”

    क्या फिर तिलमिलाएगा चीन? LAC के पास भारत का बड़ा दांव और पाकिस्तान की बढ़ी बेचैनी

    क्या फिर तिलमिलाएगा चीन? LAC के पास भारत का बड़ा दांव और पाकिस्तान की बढ़ी बेचैनी

    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • सभी
    • AMERIKA
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
    सीजफायर पर ट्रंप की किरकिरी, पाकिस्तान ने भी माना भारत का पक्ष

    सीजफायर पर ट्रंप की किरकिरी, पाकिस्तान ने भी माना भारत का पक्ष

    नरेंद्र मोदी: वडनगर से विश्व मंच तक, राजनीति के नए युग की कहानी

    नरेंद्र मोदी: वडनगर से विश्व मंच तक, राजनीति के नए युग की कहानी

    गोवा मुक्ति संग्राम और नारायण आप्टे: बलिदान, संघर्ष और भारतीय राष्ट्रवाद की अपराजेय गाथा

    गोवा मुक्ति संग्राम और नारायण आप्टे: बलिदान, संघर्ष और भारतीय राष्ट्रवाद की अपराजेय गाथा

    भूमध्यसागर में भारत की दहाड़: आईएनएस त्रिकंद ने बढ़ाया नौसैनिक परचम

    भूमध्यसागर में भारत की दहाड़: आईएनएस त्रिकंद ने बढ़ाया नौसैनिक परचम

    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • सभी
    • इतिहास
    • संस्कृति
    पेरियार: मिथक, वास्तविकता और तमिल अस्मिता के साथ विश्वासघात

    पेरियार: मिथक, वास्तविकता और तमिल अस्मिता के साथ विश्वासघात

    ऑपरेशन पोलो के बाद सरदार पटेल का झुक कर अभिवादन करते हैदराबाद के निजाम

    हैदराबाद का भारत में पूर्ण विलय: जब पटेल ने कहा- नेहरू अपने आप को समझते क्या हैं? आज़ादी की लड़ाई दूसरे लोगों ने भी लड़ी है

    लक्ष्मणपुर बाथे: एक रात, जब 58 ज़िंदगियां बुझा दी गईं, भारत के दलितों का शोकगीत

    जंगलराज की जड़ें: बिहार का अंधकारमय अध्याय और राजनीति की निर्णायक विरासत

    गोवा मुक्ति संग्राम और नारायण आप्टे: बलिदान, संघर्ष और भारतीय राष्ट्रवाद की अपराजेय गाथा

    गोवा मुक्ति संग्राम और नारायण आप्टे: बलिदान, संघर्ष और भारतीय राष्ट्रवाद की अपराजेय गाथा

    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • सभी
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
    दिव्य और भव्य होगा हरिद्वार कुंभ 2027: सीएम धामी ने दिये ये निर्देश

    दिव्य और भव्य होगा हरिद्वार कुंभ 2027: सीएम धामी ने दिये ये निर्देश

    “रक्षा साझेदारी की नई उड़ान: भारत में ही बनेगा सुखोई Su-57, रूस ने दिखाया भरोसा”

    भारत में ही बनेगा सुखोई Su-57 ! अमेरिका से तनाव के बीच रूस से आई ये खबर इतनी महत्वपूर्ण क्यों है?

    “सेमीकॉन इंडिया 2025 में बोले पीएम मोदी, इनोवेशन और निवेश से भारत बनेगा टेक्नोलॉजी सुपरपावर

    “सेमीकॉन इंडिया 2025 में बोले पीएम मोदी, इनोवेशन और निवेश से भारत बनेगा टेक्नोलॉजी सुपरपावर

    भविष्य की झलक: पीएम मोदी ने की टोक्यो से सेंदाई तक बुलेट ट्रेन की सवारी

    भविष्य की झलक: पीएम मोदी ने की टोक्यो से सेंदाई तक बुलेट ट्रेन की सवारी

    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
tfipost.in
  • राजनीति
    • सभी
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
    रणनीति और दृष्टि: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की नेतृत्व की असली पहचान

    रणनीति और दृष्टि: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की नेतृत्व की असली पहचान

    नरेंद्र मोदी: वडनगर से विश्व मंच तक, राजनीति के नए युग की कहानी

    नरेंद्र मोदी: वडनगर से विश्व मंच तक, राजनीति के नए युग की कहानी

    लक्ष्मणपुर बाथे: एक रात, जब 58 ज़िंदगियां बुझा दी गईं, भारत के दलितों का शोकगीत

    लक्ष्मणपुर बाथे: एक रात, जब 58 ज़िंदगियां बुझा दी गईं, भारत के दलितों का शोकगीत

    “सैलून का मायाजाल” हिमाचल के लिए खतरे की घंटी

    “सैलून का मायाजाल” हिमाचल के लिए खतरे की घंटी

    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • सभी
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
    भारत-अमेरिका: टैरिफ युद्ध, कूटनीतिक खेल और बैकडोर डील की कहानी

    भारत-अमेरिका: टैरिफ युद्ध, कूटनीतिक खेल और बैकडोर डील की कहानी

    हालात : भू-राजनीतिक टकराव का अखाड़ा बना दक्षिण और दक्षिण-पूर्व एशिया

    हालात : भू-राजनीतिक टकराव का अखाड़ा बना दक्षिण और दक्षिण-पूर्व एशिया

    अब आया ऊंट पहाड़ के नीचे: मोदी की रणनीति, अमेरिका की बेचैनी और भारत का संतुलन

    अब आया ऊंट पहाड़ के नीचे: मोदी की रणनीति, अमेरिका की बेचैनी और भारत का संतुलन

    भारत का नया खेल: जानें ग्रेट निकोबार प्रोजेक्ट पर क्यों पैसे लगा रही सरकार

    भारत का नया खेल: जानें ग्रेट निकोबार प्रोजेक्ट पर क्यों पैसे लगा रही सरकार

    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • सभी
    • आयुध
    • रणनीति
    सीजफायर पर ट्रंप की किरकिरी, पाकिस्तान ने भी माना भारत का पक्ष

    सीजफायर पर ट्रंप की किरकिरी, पाकिस्तान ने भी माना भारत का पक्ष

    भूमध्यसागर में भारत की दहाड़: आईएनएस त्रिकंद ने बढ़ाया नौसैनिक परचम

    भूमध्यसागर में भारत की दहाड़: आईएनएस त्रिकंद ने बढ़ाया नौसैनिक परचम

    डील नहीं, डिज़ाइन, दलाली नहीं, डिलीवरी: बदलेगा भारत का रक्षा भविष्य

    “डील नहीं, डिज़ाइन, दलाली नहीं, डिलीवरी: बदलेगा भारत का रक्षा भविष्य”

    क्या फिर तिलमिलाएगा चीन? LAC के पास भारत का बड़ा दांव और पाकिस्तान की बढ़ी बेचैनी

    क्या फिर तिलमिलाएगा चीन? LAC के पास भारत का बड़ा दांव और पाकिस्तान की बढ़ी बेचैनी

    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • सभी
    • AMERIKA
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
    सीजफायर पर ट्रंप की किरकिरी, पाकिस्तान ने भी माना भारत का पक्ष

    सीजफायर पर ट्रंप की किरकिरी, पाकिस्तान ने भी माना भारत का पक्ष

    नरेंद्र मोदी: वडनगर से विश्व मंच तक, राजनीति के नए युग की कहानी

    नरेंद्र मोदी: वडनगर से विश्व मंच तक, राजनीति के नए युग की कहानी

    गोवा मुक्ति संग्राम और नारायण आप्टे: बलिदान, संघर्ष और भारतीय राष्ट्रवाद की अपराजेय गाथा

    गोवा मुक्ति संग्राम और नारायण आप्टे: बलिदान, संघर्ष और भारतीय राष्ट्रवाद की अपराजेय गाथा

    भूमध्यसागर में भारत की दहाड़: आईएनएस त्रिकंद ने बढ़ाया नौसैनिक परचम

    भूमध्यसागर में भारत की दहाड़: आईएनएस त्रिकंद ने बढ़ाया नौसैनिक परचम

    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • सभी
    • इतिहास
    • संस्कृति
    पेरियार: मिथक, वास्तविकता और तमिल अस्मिता के साथ विश्वासघात

    पेरियार: मिथक, वास्तविकता और तमिल अस्मिता के साथ विश्वासघात

    ऑपरेशन पोलो के बाद सरदार पटेल का झुक कर अभिवादन करते हैदराबाद के निजाम

    हैदराबाद का भारत में पूर्ण विलय: जब पटेल ने कहा- नेहरू अपने आप को समझते क्या हैं? आज़ादी की लड़ाई दूसरे लोगों ने भी लड़ी है

    लक्ष्मणपुर बाथे: एक रात, जब 58 ज़िंदगियां बुझा दी गईं, भारत के दलितों का शोकगीत

    जंगलराज की जड़ें: बिहार का अंधकारमय अध्याय और राजनीति की निर्णायक विरासत

    गोवा मुक्ति संग्राम और नारायण आप्टे: बलिदान, संघर्ष और भारतीय राष्ट्रवाद की अपराजेय गाथा

    गोवा मुक्ति संग्राम और नारायण आप्टे: बलिदान, संघर्ष और भारतीय राष्ट्रवाद की अपराजेय गाथा

    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • सभी
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
    दिव्य और भव्य होगा हरिद्वार कुंभ 2027: सीएम धामी ने दिये ये निर्देश

    दिव्य और भव्य होगा हरिद्वार कुंभ 2027: सीएम धामी ने दिये ये निर्देश

    “रक्षा साझेदारी की नई उड़ान: भारत में ही बनेगा सुखोई Su-57, रूस ने दिखाया भरोसा”

    भारत में ही बनेगा सुखोई Su-57 ! अमेरिका से तनाव के बीच रूस से आई ये खबर इतनी महत्वपूर्ण क्यों है?

    “सेमीकॉन इंडिया 2025 में बोले पीएम मोदी, इनोवेशन और निवेश से भारत बनेगा टेक्नोलॉजी सुपरपावर

    “सेमीकॉन इंडिया 2025 में बोले पीएम मोदी, इनोवेशन और निवेश से भारत बनेगा टेक्नोलॉजी सुपरपावर

    भविष्य की झलक: पीएम मोदी ने की टोक्यो से सेंदाई तक बुलेट ट्रेन की सवारी

    भविष्य की झलक: पीएम मोदी ने की टोक्यो से सेंदाई तक बुलेट ट्रेन की सवारी

    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
tfipost.in
tfipost.in
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • रक्षा
  • विश्व
  • ज्ञान
  • बैठक
  • प्रीमियम

भारत की विदेश नीति में अपनी अमिट छाप कैसे छोड़ रहे हैं डॉ. एस. जयशंकर ?

डॉ. जयशंकर के 'डॉ. जयशंकर' बनने की कहानी

Deeksha Sharma द्वारा Deeksha Sharma
17 July 2022
in समीक्षा
S Jaishankar

Source- TFIPOST HINDI

Share on FacebookShare on X

जब भी बात भारत के विदेश मंत्रियों की आती है तो दिमाग में सबसे पहला नाम डॉ एस जयशंकर का आता है. उनसे पहले देश के जो भी विदेश मंत्री रहे वे शायद ही किसी को याद हों लेकिन जयशंकर ने अपने छोटे से कार्यकाल में जो उपलब्धियां हासिल कर ली है वो अविस्मरणीय है. और इसका मुख्य कारण उनके सोचने का तरीका और चीजों को कूटनीतिक रूप से हल करने की उनकी क्षमता है. इसके अलावा जयशंकर उन चुनिंदा लोगों में से एक हैं जो गलत को ‘गलत’ कहने से नहीं डरते और यही बात उन्हें और भी खास बनाती है.

भारत ने स्वतंत्रता के बाद की विदेश नीति में रक्षात्मकता के साथ चुटकी- भर नमक के बराबर आक्रामकता का रुख अपनाया. भारत के बोलने पर किसी को कोई आपत्ति न हो इसके लिए शांतचित्त दृष्टिकोण पर अधिक जोर दिया गया लेकिन फिर एक व्यक्ति आया जिसे कूटनीति का दशकों का अनुभव था और उसने भारत की विदेश निति की जो कायापलट की वह बहुत सराहनीय है. लेकिन इसकी शुरुआत कहा से हुई और जयशंकर कैसे इस मुकाम तक पहुंचे? चलिए जानते हैं!

संबंधितपोस्ट

टैरिफ टेंशन और व्हाइट हाउस की ठनक के बीच पीएम मोदी का संयुक्त राष्ट्र महासभा से किनारा, डेलिगेशन में कौन जाएगा ?

भारत सरकार का ‘भारती’ इनिशिएटिव: कृषि निर्यात को नई ऊँचाइयों तक ले जाने का रोडमैप

भारत-रूस की अटूट दोस्ती: SCO समिट में मोदी–पुतिन की गूंज, दुनिया ने देखा भारत का बढ़ता कद

और लोड करें

डॉ सुब्रमण्यम जयशंकर का जन्म नई दिल्ली में एक तमिल परिवार में हुआ. उनके पिता के. सुब्रह्मण्यम स्वयं एक रणनीतिक मामलों के विश्लेषक, टिप्पणीकार और सिविल सेवक थे। जयशंकर दिल्ली विश्वविद्यालय के सेंट स्टीफंस कॉलेज से स्नातक हैं। उन्होंने राजनीति विज्ञान में एमए, एम. फिल. और जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (JNU) से अंतरराष्ट्रीय संबंधों में PHD (परमाणु कूटनीति में विशेषज्ञता) हासिल की। इसलिए उन्हें विदेशी रणनीतियों में एक योग्य व्यक्ति के रूप में माना जा सकता है।

और पढ़ें: जयशंकर ने एक साथ राहुल गांधी, चीन और पिनराई विजयन तीनों को पटक-पटक कर धोया

डॉ जयशंकर का करियर

जयशंकर 1977 में भारतीय विदेश सेवा में उस समय शामिल हुए जब इंदिरा गांधी द्वारा लगाए गए आपातकाल के कारण भारत वैश्विक मंच पर अपनी बात कहने में संघर्ष कर रहा था. उन्होंने 1978 में मॉस्को में भारत के मिशन के तीसरे और दूसरे सचिव के रूप में कार्य किया था. 1985-1988 में वह वाशिंगटन डी॰सी॰ स्थित भारतीय दूतावास में प्रथम सचिव थे. 1988 में वो भारतीय शांति सेना (IPKF) के पहले सचिव और राजनीतिक सलाहकार बने. 1990 से 1995 तक भारत में जो राजनितिक उथल-पुथल मची वो उसके साक्षी बनें. न केवल काम से बल्कि सरकारों में नेताओं के बर्ताव और सोच से भी उन्होंने काफी कुछ सीखा. 1991 के आर्थिक संकट के दौरान वह बुडापेस्ट में भारतीय मिशन में काउंसलर (वाणिज्यिक) बनें.

डॉ जयशंकर ने अब तक विदेश नीति के क्षेत्र में 2 दशक का वक्त गुजार लिया था। उन्होंने 21वीं सदी के भारत के लिए उपयुक्त विदेश नीति के निर्माण की दिशा में काम करना प्रारंभ कर दिया। भारत आर्थिक रूप से मजबूत होने लगा और ऐसे में अमेरिका जानता था कि भारत जिस प्रकार से बढ़ रहा है यदि ऐसे में उसे अपने नियंत्रण में कर लिया जाये तो अमेरिका के लिए भविष्य में यह किसी ‘हुकुम के इक्के’ से कम नहीं होगा. लेकिन  जयशंकर ने भी इससे निपटने के लिए समान विचारधारा वाले उन सहयोगियों के साथ संबंधों को मजबूत किया जो भारत की सहायता कर सकते थे.

डॉ जयशंकर ने 2004-2007 तक विदेश मंत्रालय में संयुक्त सचिव (अमेरिका) के रूप में काम किया और महत्वाकांक्षी भारत-अमेरिका असैन्य परमाणु समझौता भी इन्हीं की देन है. इसके लिए पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह आज भी उनकी सराहना करते हैं. चीन का सामना करने हेतु चीन के दुश्मन जापान के शिंज़ो आबे के साथ मनमोहन सिंह को मिलवाने वाले भी जयशंकर ही थे. यही कारण है कि आज जापान हमारा क्वाड पार्टनर और एक अविभाज्य आर्थिक सहयोगी है। 1977 बैच के भारतीय विदेश सेवा अधिकारी जयशंकर ने अन्य यूरोपीय देशों में भारत का प्रतिनिधित्व करने के बीच अमेरिका में (2014-15) और चीन में 2009-13 तक अपनी सेवा दी. वो चीन में लगभग साढ़े चार साल के कार्यकाल के साथ ही सबसे लंबे समय तक सेवा देने वाले भारतीय राजदूत बनें.

भारत और चीन के बीच डोकलाम संकट को समाप्त करने में भी जयशंकर की महत्वपूर्ण भूमिका थी, जिसने दोनों देशों को अरुणाचल प्रदेश में युद्ध के कगार पर पहुंचा दिया था. बीजिंग में अपने कार्यकाल के दौरान जयशंकर ने भारत के व्यापार, सीमा और सांस्कृतिक संबंधों में चीन के साथ संबंध सुधारने में मदद की. रूसी, अंग्रेजी, तमिल, हिंदी, जापानी, चीनी और हंगेरियन भाषाओं के ज्ञाता डॉ जयशंकर ने भारत के पूर्व राष्ट्रपति शंकर दयाल शर्मा के लिए प्रेस सचिव और भाषण लेखक के रूप में भी काम किया है.

जयशंकर और मोदी

मोदी सरकार के पहले कार्यकाल में सुषमा स्वराज विदेश मंत्री थी जबकि जयशंकर विदेश सचिव के रूप में काम कर रहे थे. पद पर रहने के दौरान ही सुषमा स्वराज की असामयिक मृत्यु हो गई. जयशंकर की सूझबूझ और विदेशी राजनीति में उनके कौशल को देख प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी उनसे बहुत प्रभावित हुए और डॉ जयशंकर, जो रिटायरमेंट लेने वाले थे उन्हें अपने दूसरे कार्यकाल में विदेश मंत्री का पद थमा दिया. पीएम मोदी के विदेशी दौरे जिनके कारण आज भारत के हर देश के साथ अच्छे सम्बन्ध हैं, वह भी डॉ जयशंकर के ही दिमाग की उपज है. उनकी इसी निति की कारण आज चीन और पाकिस्तान को छोड़ दें तो विश्व का हर देश भारत का मित्र है. अमेरिका के बाइडन हों या यूरोपीय यूनियन हो या अन्य, आज हर कोई भारत से मैत्री के लिए आगे बढ़ रहा है.

भारतीय विदेश नीति का नायक

आज डॉ जयशंकर जितना संयुक्त राज्य अमेरिका, चीन और यूके जैसे देशों के भारत विरोधी मिथों और प्रश्नों का अपने सत्य और तथ्य के साथ मुकाबला करते हैं. आज तक भारत के विदेश मंत्री जिन्हें शायद ही स्वयं के देश की आबादी अच्छे से जानती हो आज उसी विदेश मंत्री की कुर्सी पर बैठने वाले डॉ जयशंकर के चर्चे देश विदेश हर जगह है. कोई भी उन्हें सुनकर उनके  ज्ञान और बुद्धि से प्रभावित हुए बिना नहीं रह पाता. यही कारण है कि आज डॉ जयशंकर को भारतीय विदेश नीति का नायक कहा जाता है.

और पढ़ें: यूरोप वैश्विक समाज का ठेकेदार न बने– जयशंकर ने यूरोप को छठी का दूध याद दिलाया

TFI का समर्थन करें:

सांस्कृतिक राष्ट्रवाद की ‘राइट’ विचारधारा को मजबूती देने के लिए TFI-STORE.COM से बेहतरीन गुणवत्ता के वस्त्र क्रय कर हमारा समर्थन करें।

Tags: एस जयशंकरमोदी सरकारविदेश नीति
शेयरट्वीटभेजिए
पिछली पोस्ट

सोशल मीडिया ने विज्ञापनों पर बॉलीवुडिया अभिनेताओं के एकाधिकार को ख़त्म कर दिया

अगली पोस्ट

विश्व में कैसे भुखमरी का निर्माण कर रहा है WTO?

संबंधित पोस्ट

रणनीति और दृष्टि: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की नेतृत्व की असली पहचान
चर्चित

रणनीति और दृष्टि: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की नेतृत्व की असली पहचान

17 September 2025

भारत की राजनीति में नेताओं की चर्चा अक्सर उनके चुनावी भाषणों, जनसभाओं की भीड़ या बड़े नारों तक सीमित रहती है। लेकिन जब केंद्रीय मंत्री...

नरेंद्र मोदी: वडनगर से विश्व मंच तक, राजनीति के नए युग की कहानी
चर्चित

नरेंद्र मोदी: वडनगर से विश्व मंच तक, राजनीति के नए युग की कहानी

17 September 2025

17 सितंबर—आज जब भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपना जन्मदिन मना रहे हैं, तब यह महज़ कैलेंडर पर दर्ज़ एक तारीख नहीं है। यह तारीख...

लक्ष्मणपुर बाथे: एक रात, जब 58 ज़िंदगियां बुझा दी गईं, भारत के दलितों का शोकगीत
क्राइम

लक्ष्मणपुर बाथे: एक रात, जब 58 ज़िंदगियां बुझा दी गईं, भारत के दलितों का शोकगीत

17 September 2025

बिहार के औरंगाबाद ज़िले की सोनई नदी के किनारे बसा एक छोटा सा गांव—लक्ष्मणपुर बाथे। आज यह नाम भारतीय राजनीति और न्याय व्यवस्था की उस...

और लोड करें

Leave a Reply Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

I agree to the Terms of use and Privacy Policy.
This site is protected by reCAPTCHA and the Google Privacy Policy and Terms of Service apply.

इस समय चल रहा है

Inside the Waqf Case: What SC’s Interim Order Really Means?

Inside the Waqf Case: What SC’s Interim Order Really Means?

00:19:34

Where Is Kerala Heading? | The Shocking Truth of CPM’s Hate Towards Hindus

00:05:16

How China’s Military Reach Rises on the Backs of Its Silenced Citizens?

00:08:27

Why Congress Wants to Erase Chhatrapati Shivaji Maharaj from Public Memory?

00:06:37

Epic Battle of Saragarhi : A Tale of Unmatched Bravery That Every Indian Should Know

00:07:14
फेसबुक एक्स (ट्विटर) इन्स्टाग्राम यूट्यूब
टीऍफ़आईपोस्टtfipost.in
हिंदी खबर - आज के मुख्य समाचार - Hindi Khabar News - Aaj ke Mukhya Samachar
  • About us
  • Careers
  • Brand Partnerships
  • उपयोग की शर्तें
  • निजता नीति
  • साइटमैप

©2025 TFI Media Private Limited

कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
TFIPOST English
TFIPOST Global

©2025 TFI Media Private Limited