TFIPOST English
TFIPOST Global
tfipost.in
tfipost.in
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
    • सभी
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
    एटम बम के बाद अब हाइड्रोजन बम चलाएंगे राहुल गांधी, जानें कांग्रेस नेता ने क्यों कही ये बात

    एटम बम के बाद अब हाइड्रोजन बम चलाएंगे राहुल गांधी, जानें कांग्रेस नेता ने क्यों कही ये बात

    SCO समिट में मोदी की कूटनीति: भारत बना RIC का ‘पावर सेंटर’!

    SCO समिट में मोदी की कूटनीति: भारत बना RIC का ‘पावर सेंटर’!

    भारत-रूस की अटूट दोस्ती: SCO समिट में मोदी–पुतिन की गूंज, दुनिया ने देखा भारत का बढ़ता कद

    भारत-रूस की अटूट दोस्ती: SCO समिट में मोदी–पुतिन की गूंज, दुनिया ने देखा भारत का बढ़ता कद

    TMC का SSC घोटाला: भ्रष्टाचार, महिला अपमान और बंगाल की युवा पीढ़ी के साथ विश्वासघात

    TMC का SSC घोटाला: भ्रष्टाचार, महिला अपमान और बंगाल की युवा पीढ़ी के साथ विश्वासघात

    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • सभी
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
    SCO समिट में मोदी की कूटनीति: भारत बना RIC का ‘पावर सेंटर’!

    SCO समिट में मोदी की कूटनीति: भारत बना RIC का ‘पावर सेंटर’!

    तियानजिन से भारत का आत्मविश्वासी स्वर: पीएम मोदी ने पुतिन संग कार की सवारी कर दुनिया को दिया कड़ा संदेश

    तियानजिन से भारत का आत्मविश्वासी स्वर: पीएम मोदी ने पुतिन संग कार की सवारी कर दुनिया को दिया कड़ा संदेश

    विदेशी एजेंडा फिर फेल—भारत की ऊर्जा नीति 140 करोड़ भारतीयों के लिए

    पीटर नवारो साहब- भारत की ऊर्जा नीति ‘ब्राह्मणों’ के लिए नहीं बल्कि 140 करोड़ हिंदुस्तानियों के हितों के लिए है, इसे अमेरिका जितना जल्दी समझ ले उतना अच्छा

    भारत-रूस की अटूट दोस्ती: SCO समिट में मोदी–पुतिन की गूंज, दुनिया ने देखा भारत का बढ़ता कद

    भारत-रूस की अटूट दोस्ती: SCO समिट में मोदी–पुतिन की गूंज, दुनिया ने देखा भारत का बढ़ता कद

    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • सभी
    • आयुध
    • रणनीति
    भारत-रूस की अटूट दोस्ती: SCO समिट में मोदी–पुतिन की गूंज, दुनिया ने देखा भारत का बढ़ता कद

    भारत-रूस की अटूट दोस्ती: SCO समिट में मोदी–पुतिन की गूंज, दुनिया ने देखा भारत का बढ़ता कद

    बांग्लादेश: हिंदुओं के लिए नर्क, दुनिया की चुप्पी और भारत की जिम्मेदारी

    बांग्लादेश: हिंदुओं के लिए नर्क, दुनिया की चुप्पी और भारत की जिम्मेदारी

    प्रधानमंत्री मोदी और राष्ट्रपति जिनपिंग हाथ मिलाते हुए

    धन्यवाद, मिस्टर ट्रम्प – ‘कूटनीति’ का ये सबक याद दिलाने के लिए कि स्थायी सिर्फ़ स्वार्थ होता है, और अब भारत वही कर रहा है

    भारत-जापान मानव संसाधन समझौता: 50,000 भारतीय युवाओं को जापान में रोजगार, रिश्तों में नया अध्याय

    भारत-जापान ऐतिहासिक मानव संसाधन समझौता: 50,000 भारतीय युवाओं को मिलेगा जापान में काम का अवसर, कार्य संस्कृति में संभावित बड़ा बदलाव

    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • सभी
    • AMERIKA
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
    SCO समिट में मोदी की कूटनीति: भारत बना RIC का ‘पावर सेंटर’!

    SCO समिट में मोदी की कूटनीति: भारत बना RIC का ‘पावर सेंटर’!

    तियानजिन से भारत का आत्मविश्वासी स्वर: पीएम मोदी ने पुतिन संग कार की सवारी कर दुनिया को दिया कड़ा संदेश

    तियानजिन से भारत का आत्मविश्वासी स्वर: पीएम मोदी ने पुतिन संग कार की सवारी कर दुनिया को दिया कड़ा संदेश

    विदेशी एजेंडा फिर फेल—भारत की ऊर्जा नीति 140 करोड़ भारतीयों के लिए

    पीटर नवारो साहब- भारत की ऊर्जा नीति ‘ब्राह्मणों’ के लिए नहीं बल्कि 140 करोड़ हिंदुस्तानियों के हितों के लिए है, इसे अमेरिका जितना जल्दी समझ ले उतना अच्छा

    भारत-रूस की अटूट दोस्ती: SCO समिट में मोदी–पुतिन की गूंज, दुनिया ने देखा भारत का बढ़ता कद

    भारत-रूस की अटूट दोस्ती: SCO समिट में मोदी–पुतिन की गूंज, दुनिया ने देखा भारत का बढ़ता कद

    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • सभी
    • इतिहास
    • संस्कृति
    बांग्लादेश: हिंदुओं के लिए नर्क, दुनिया की चुप्पी और भारत की जिम्मेदारी

    बांग्लादेश: हिंदुओं के लिए नर्क, दुनिया की चुप्पी और भारत की जिम्मेदारी

    जापान की गोपनीय फाइलें और अधूरा सच: क्या अब खत्म होगा नेताजी सुभाष चंद्र बोस का रहस्य?

    जापान की गोपनीय फाइलें और अधूरा सच: क्या अब खत्म होगा नेताजी सुभाष चंद्र बोस का रहस्य?

    भारत के अलावा किन-किन देशों में होती है गणेश जी की पूजा और क्या है मान्यताएं?

    भारत के अलावा किन-किन देशों में होती है गणेश जी की पूजा और क्या है मान्यताएं?

    एक जंग में फ्रांस मेडागास्कर के राजा का सिर काट कर अपने देश ले गए थे, अब 128 साल बाद लौटाईं तीन खोपड़ियां

    एक जंग में फ्रांस मेडागास्कर के राजा का सिर काट कर अपने देश ले गए थे, अब 128 साल बाद लौटाईं तीन खोपड़ियां

    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • सभी
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
    भविष्य की झलक: पीएम मोदी ने की टोक्यो से सेंदाई तक बुलेट ट्रेन की सवारी

    भविष्य की झलक: पीएम मोदी ने की टोक्यो से सेंदाई तक बुलेट ट्रेन की सवारी

    40 मंजिला इमारत जितना ऊंचा! इसरो बना रहा है 92 मीटर का ‘सूर्य’ रॉकेट

    40 मंजिला इमारत जितना ऊंचा! इसरो बना रहा है 92 मीटर का ‘सूर्य’ रॉकेट

    ₹18,541 करोड़ का बंपर पैकेज: 4 सेमीकंडक्टर प्रोजेक्ट, लखनऊ मेट्रो विस्तार को हरी झंडी

    ₹18,541 करोड़ का बंपर पैकेज: 4 सेमीकंडक्टर प्रोजेक्ट, लखनऊ मेट्रो विस्तार को हरी झंडी

    स्मृति ईरानी की टीवी पर शानदार वापसी, रुपाली गांगुली और हिना खान को पछाड़ बनीं हाईएस्ट पेड टीवी स्टार

    स्मृति ईरानी की टीवी पर शानदार वापसी, रुपाली गांगुली और हिना खान को पछाड़ बनीं हाईएस्ट पेड टीवी स्टार

    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
tfipost.in
  • राजनीति
    • सभी
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
    एटम बम के बाद अब हाइड्रोजन बम चलाएंगे राहुल गांधी, जानें कांग्रेस नेता ने क्यों कही ये बात

    एटम बम के बाद अब हाइड्रोजन बम चलाएंगे राहुल गांधी, जानें कांग्रेस नेता ने क्यों कही ये बात

    SCO समिट में मोदी की कूटनीति: भारत बना RIC का ‘पावर सेंटर’!

    SCO समिट में मोदी की कूटनीति: भारत बना RIC का ‘पावर सेंटर’!

    भारत-रूस की अटूट दोस्ती: SCO समिट में मोदी–पुतिन की गूंज, दुनिया ने देखा भारत का बढ़ता कद

    भारत-रूस की अटूट दोस्ती: SCO समिट में मोदी–पुतिन की गूंज, दुनिया ने देखा भारत का बढ़ता कद

    TMC का SSC घोटाला: भ्रष्टाचार, महिला अपमान और बंगाल की युवा पीढ़ी के साथ विश्वासघात

    TMC का SSC घोटाला: भ्रष्टाचार, महिला अपमान और बंगाल की युवा पीढ़ी के साथ विश्वासघात

    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • सभी
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
    SCO समिट में मोदी की कूटनीति: भारत बना RIC का ‘पावर सेंटर’!

    SCO समिट में मोदी की कूटनीति: भारत बना RIC का ‘पावर सेंटर’!

    तियानजिन से भारत का आत्मविश्वासी स्वर: पीएम मोदी ने पुतिन संग कार की सवारी कर दुनिया को दिया कड़ा संदेश

    तियानजिन से भारत का आत्मविश्वासी स्वर: पीएम मोदी ने पुतिन संग कार की सवारी कर दुनिया को दिया कड़ा संदेश

    विदेशी एजेंडा फिर फेल—भारत की ऊर्जा नीति 140 करोड़ भारतीयों के लिए

    पीटर नवारो साहब- भारत की ऊर्जा नीति ‘ब्राह्मणों’ के लिए नहीं बल्कि 140 करोड़ हिंदुस्तानियों के हितों के लिए है, इसे अमेरिका जितना जल्दी समझ ले उतना अच्छा

    भारत-रूस की अटूट दोस्ती: SCO समिट में मोदी–पुतिन की गूंज, दुनिया ने देखा भारत का बढ़ता कद

    भारत-रूस की अटूट दोस्ती: SCO समिट में मोदी–पुतिन की गूंज, दुनिया ने देखा भारत का बढ़ता कद

    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • सभी
    • आयुध
    • रणनीति
    भारत-रूस की अटूट दोस्ती: SCO समिट में मोदी–पुतिन की गूंज, दुनिया ने देखा भारत का बढ़ता कद

    भारत-रूस की अटूट दोस्ती: SCO समिट में मोदी–पुतिन की गूंज, दुनिया ने देखा भारत का बढ़ता कद

    बांग्लादेश: हिंदुओं के लिए नर्क, दुनिया की चुप्पी और भारत की जिम्मेदारी

    बांग्लादेश: हिंदुओं के लिए नर्क, दुनिया की चुप्पी और भारत की जिम्मेदारी

    प्रधानमंत्री मोदी और राष्ट्रपति जिनपिंग हाथ मिलाते हुए

    धन्यवाद, मिस्टर ट्रम्प – ‘कूटनीति’ का ये सबक याद दिलाने के लिए कि स्थायी सिर्फ़ स्वार्थ होता है, और अब भारत वही कर रहा है

    भारत-जापान मानव संसाधन समझौता: 50,000 भारतीय युवाओं को जापान में रोजगार, रिश्तों में नया अध्याय

    भारत-जापान ऐतिहासिक मानव संसाधन समझौता: 50,000 भारतीय युवाओं को मिलेगा जापान में काम का अवसर, कार्य संस्कृति में संभावित बड़ा बदलाव

    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • सभी
    • AMERIKA
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
    SCO समिट में मोदी की कूटनीति: भारत बना RIC का ‘पावर सेंटर’!

    SCO समिट में मोदी की कूटनीति: भारत बना RIC का ‘पावर सेंटर’!

    तियानजिन से भारत का आत्मविश्वासी स्वर: पीएम मोदी ने पुतिन संग कार की सवारी कर दुनिया को दिया कड़ा संदेश

    तियानजिन से भारत का आत्मविश्वासी स्वर: पीएम मोदी ने पुतिन संग कार की सवारी कर दुनिया को दिया कड़ा संदेश

    विदेशी एजेंडा फिर फेल—भारत की ऊर्जा नीति 140 करोड़ भारतीयों के लिए

    पीटर नवारो साहब- भारत की ऊर्जा नीति ‘ब्राह्मणों’ के लिए नहीं बल्कि 140 करोड़ हिंदुस्तानियों के हितों के लिए है, इसे अमेरिका जितना जल्दी समझ ले उतना अच्छा

    भारत-रूस की अटूट दोस्ती: SCO समिट में मोदी–पुतिन की गूंज, दुनिया ने देखा भारत का बढ़ता कद

    भारत-रूस की अटूट दोस्ती: SCO समिट में मोदी–पुतिन की गूंज, दुनिया ने देखा भारत का बढ़ता कद

    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • सभी
    • इतिहास
    • संस्कृति
    बांग्लादेश: हिंदुओं के लिए नर्क, दुनिया की चुप्पी और भारत की जिम्मेदारी

    बांग्लादेश: हिंदुओं के लिए नर्क, दुनिया की चुप्पी और भारत की जिम्मेदारी

    जापान की गोपनीय फाइलें और अधूरा सच: क्या अब खत्म होगा नेताजी सुभाष चंद्र बोस का रहस्य?

    जापान की गोपनीय फाइलें और अधूरा सच: क्या अब खत्म होगा नेताजी सुभाष चंद्र बोस का रहस्य?

    भारत के अलावा किन-किन देशों में होती है गणेश जी की पूजा और क्या है मान्यताएं?

    भारत के अलावा किन-किन देशों में होती है गणेश जी की पूजा और क्या है मान्यताएं?

    एक जंग में फ्रांस मेडागास्कर के राजा का सिर काट कर अपने देश ले गए थे, अब 128 साल बाद लौटाईं तीन खोपड़ियां

    एक जंग में फ्रांस मेडागास्कर के राजा का सिर काट कर अपने देश ले गए थे, अब 128 साल बाद लौटाईं तीन खोपड़ियां

    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • सभी
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
    भविष्य की झलक: पीएम मोदी ने की टोक्यो से सेंदाई तक बुलेट ट्रेन की सवारी

    भविष्य की झलक: पीएम मोदी ने की टोक्यो से सेंदाई तक बुलेट ट्रेन की सवारी

    40 मंजिला इमारत जितना ऊंचा! इसरो बना रहा है 92 मीटर का ‘सूर्य’ रॉकेट

    40 मंजिला इमारत जितना ऊंचा! इसरो बना रहा है 92 मीटर का ‘सूर्य’ रॉकेट

    ₹18,541 करोड़ का बंपर पैकेज: 4 सेमीकंडक्टर प्रोजेक्ट, लखनऊ मेट्रो विस्तार को हरी झंडी

    ₹18,541 करोड़ का बंपर पैकेज: 4 सेमीकंडक्टर प्रोजेक्ट, लखनऊ मेट्रो विस्तार को हरी झंडी

    स्मृति ईरानी की टीवी पर शानदार वापसी, रुपाली गांगुली और हिना खान को पछाड़ बनीं हाईएस्ट पेड टीवी स्टार

    स्मृति ईरानी की टीवी पर शानदार वापसी, रुपाली गांगुली और हिना खान को पछाड़ बनीं हाईएस्ट पेड टीवी स्टार

    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
tfipost.in
tfipost.in
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • रक्षा
  • विश्व
  • ज्ञान
  • बैठक
  • प्रीमियम

‘एक देश एक चुनाव’ पर राष्ट्रपति को सौंपी गई रिपोर्ट, जानें फायदे और नुकसान

'एक देश एक चुनाव' की संभावना पर विचार करने के लिए बनी उच्चस्तरीय समिति ने गुरुवार को राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू को अपनी रिपोर्ट सौंप दी है।

Akash Gaur द्वारा Akash Gaur
15 March 2024
in राजनीति
2024 लोकसभा चुनाव, लोकसभा चुनाव, एक राष्ट्र एक चुनाव, रामनाथ कोविन्द
Share on FacebookShare on X

‘एक देश एक चुनाव‘ की संभावना पर विचार करने के लिए बनी उच्चस्तरीय समिति ने गुरुवार को राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू को अपनी रिपोर्ट सौंप दी है। पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद की अध्यक्षता वाली इस समिति का कहना है कि सभी पक्षों, जानकारों और शोधकर्ताओं से बातचीत के बाद ये रिपोर्ट तैयार की गई है। 

रिपोर्ट में आने वाले वक्त में लोकसभा और विधानसभा चुनावों के साथ-साथ नगरपालिकाओं और पंचायत चुनाव करवाने के मुद्दे से जुड़ी सिफारिशें दी गई हैं। 191 दिनों में तैयार इस 18,626 पन्नों की रिपोर्ट में कहा गया है कि 47 राजनीतिक दलों ने अपने विचार समिति के साथ साझा किए थे जिनमें से 32 राजनीतिक दल ‘एक देश एक चुनाव’ के समर्थन में थे।

संबंधितपोस्ट

अंबेडकर पर कांग्रेस को ऑल आउट करने की तैयारी में भाजपा, 13 से 25 अप्रैल तक देशभर में आयोजित होंगे अंबेडकर से जुड़े कार्यक्रम

वन नेशन वन इलेक्शन पर परदे के पीछे से देशव्यापी माहौल बनाएगी भाजपा

वक़्फ़ ही नहीं, अवैध घुसपैठ और रोहिंग्याओं पर भी लगेगी लगाम: बजट सत्र में नया विधेयक ला रही मोदी सरकार, जानिए इसमें क्या-क्या

और लोड करें

रिपोर्ट में कहा गया है, “केवल 15 राजनीतिक दलों को छोड़कर शेष 32 दलों ने न केवल साथ-साथ चुनाव प्रणाली का समर्थन किया बल्कि सीमित संसाधनों की बचत, सामाजिक तालमेल बनाए रखने और आर्थिक विकास को गति देने के लिए ये विकल्प अपनाने की ज़ोरदार वकालत की।”

रिपोर्ट में कहा गया है कि ‘एक देश एक चुनाव’ का विरोध करने वालों की दलील है कि “इसे अपनाना संविधान की मूल संरचना का उल्लंघन होगा। ये अलोकतांत्रिक, संघीय ढांचे के विपरीत, क्षेत्रीय दलों को अलग-अलग करने वाला और राष्ट्रीय दलों का वर्चस्व बढ़ाने वाला होगा।” रिपोर्ट के अनुसार इसका विरोध करने वालों का कहना है कि “ये व्यवस्था राष्ट्रपति शासन की ओर ले जाएगी।”

और पढ़ें:- पेटीएम का अंतिम लेनदेन: भारत के फिनटेक क्षेत्र में एक युग का अंत

कौन-कौन समिति में?

इस समिति में केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, कांग्रेस के पूर्व नेता गुलाम नबी आजाद, 15वें वित्त आयोग के पूर्व अध्यक्ष एनके सिंह, लोकसभा के पूर्व महासचिव डॉ। सुभाष कश्यप, वरिष्ठ अधिवक्ता हरीश साल्वे और चीफ विजिलेंस कमिश्नर संजय कोठारी शामिल थे। इसके अलावा विशेष आमंत्रित सदस्य के तौर पर कानून राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) अर्जुन राम मेघवाल और डॉ। नितेन चंद्रा समिति में शामिल थे।

रिपोर्ट में समिति ने क्या-क्या कहा है, क्या सिफारिश की है? 

  • आजादी के बाद पहले दो दशकों तक साथ में चुनाव न कराने का नकारात्मक असर अर्थव्यवस्था, राजनीति और समाज पर पड़ा है। पहले हर दस साल में दो चुनाव होते थे, अब हर साल कई चुनाव होने लगे हैं। इसलिए सरकार को साथ-साथ चुनाव के चक्र को बहाल करने के लिए कानूनी रूप से तंत्र बनाना चाहिए।
  • चुनाव दो चरणों में कराए जाएं। पहले चरण में लोकसभा और राज्य विधानसभाओं के लिए चुनाव कराए जाएं। दूसरे चरण में नगरपालिकाओं और पंचायतों के चुनाव हों। इन्हें पहले चरण के चुनावों के साथ इस तरह कोऑर्डिनेट किया जाए कि लोकसभा और विधानसभा के चुनाव के सौ दिनों के भीतर इन्हें पूरा किया जाए।
  • इसके लिए एक मतदाता सूची और एक मतदाता फोटो पहचान पत्र की व्यवस्था की जाए। इसके लिए संविधान में जरूरी संशोधन किए जाएं। इसे निर्वाचन आयोग की सलाह से तैयार किया जाए।

क्या एकसाथ चुनाव के लिए संविधान संशोधन की जरूरत है?

समिति ने कहा है कि एकसाथ चुनाव और कार्यकाल फिक्स करने के लिए संविधान में संशोधन करना होगा। इसके लिए अनुच्छेद-324 और 325 में संशोधन करना होगा। अनुच्छेद-324 में संशोधन के लिए राज्यों से पुष्टि लेनी होगी। अनुच्छेद-324 में संशोधन से एकसाथ चुनाव कराने और अनुच्छेद-325 में संशोधन से वोटर आई कार्ड के संदर्भ में की गई सिफारिश का रास्ता साफ होगा। 

अनुच्छेद-83 और 172 में संशोधन करने की सिफारिश भी की गई है। इसके तहत लोकसभा और विधानसभा के कार्यकाल के बारे में बताया गया है। इस संवैधानिक संशोधन को राज्यों की मंजूरी की जरूरत नहीं होगी। समिति ने रिप्रजेंटेशन ऑफ पीपल ऐक्ट में भी संबंधित बदलाव की सिफारिश की है।

त्रिशंकु सदन या सरकार गिरने पर क्या होगा? 

समिति की सिफारिश के अनुसार त्रिशंकु सदन या अविश्वास प्रस्ताव की स्थिति में नए सदन के गठन के लिए फिर से चुनाव कराए जा सकते हैं। इस स्थिति में नए लोकसभा (या विधानसभा) का कार्यकाल, पहले की लोकसभा (या विधानसभा) की बाकी बची अवधि के लिए ही होगा। इसके बाद सदन को भंग माना जाएगा। इन चुनावों को ‘मध्यावधि चुनाव’ कहा जाएगा, वहीं पांच साल के कार्यकाल के खत्म होने के बाद होने वाले चुनावों को ‘आम चुनाव’ कहा जाएगा।

सुप्रीम कोर्ट के किस जजमेंट का दिया गया हवाला?

समिति ने अपने निष्कर्ष में सुप्रीम कोर्ट के केशवानंद भारती के जजमेंट के सिद्धांत का हवाला दिया है। उसने कहा है कि सिफारिशें केशवानंद भारती केस के सिद्धांतों को स्पष्ट करती हैं। केशवानंद भारती जजमेंट में सुप्रीम कोर्ट ने कहा है कि प्रत्येक संविधान से लंबे समय तक बने रहने की अपेक्षा की जाती है और इसलिए इसे अनिवार्य तौर पर समायोजी होना चाहिए। 

संविधान और विधान को इनकी जरूरतों के अनुसार बदलना होगा। साथ ही रिपोर्ट में विवेकानंद को कोट करते हुए लिखा गया है- ‘समाज एक ऐसा संघटन है जो प्रगति के अपरिवर्तनशील नियम का पालन करता है और परिवर्तन, विवेकपूर्ण और सतर्क परिवर्तन जनहित के लिए और वास्तव में सामाजिक व्यवस्था के संरक्षण के लिए जरूरी है।’

क्या एकसाथ चुनाव कराया जाना व्यवहारिक तौर पर सफल प्रयोग होगा?

आजादी के बाद चार चुनाव 1952, 57, 62 और 67 के चुनाव में लोकसभा और विधानसभाओं के चुनाव एकसाथ ही हुए थे। लोकसभा और विधानसभा का कार्यकाल क्या होगा, त्रिशंकु की स्थिति में मध्यावधि चुनाव के बाद क्या स्थिति होगी इस तरह के तमाम सवालों का जवाब समिति के रिपोर्ट से साफ हो चुका है अब कुछ संवैधानिक संशोधन की जरूरत पड़ेगी और अगर केंद्र सरकार संविधान संशोधन कर पाए तो एक देश, एक चुनाव का रास्ता साफ हो सकता है।

किन-किन विशेषज्ञों की राय ली गई?

समिति ने सुप्रीम कोर्ट के चार पूर्व चीफ जस्टिस, हाई कोर्ट के 12 रिटायर्ड चीफ जस्टिस, चार पूर्व मुख्य चुनाव आयुक्तों और आठ पूर्व चुनाव आयुक्तों के साथ-साथ लॉ कमिशन के अध्यक्ष को व्यक्तिगत तौर पर आमंत्रित किया और उनके विचार मांगे। साथ ही फिक्की, आर्थिक मामलों के जानकारों के विचार भी जाने।

क्या है निष्कर्ष?

अभी निष्कर्ष नहीं निकला है। लेकिन, इस बहस में ध्यान रखने की बात यह है कि इस विचार को अमल में लाने के लिए एक आम राजनीतिक सहमति बहुत जरूरी है। फिलहाल यह भी जान लीजिए कि एक सर्वे के मुताबिक पाया गया कि एक साथ चुनाव हुए तो एक आम भारतीय वोटर एक ही पार्टी को राज्य और केंद्र के लिए वोट करे, इसके चांस 77% होंगे।

भारत में चुनावों में धन और ताकत झोंकी जाती है इसलिए इस तथ्य को भी ध्यान में रखना चाहिए। वैसे भी अब तो जो होगा वो पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद की अध्यक्षता वाली समिति की सिफारिशों के आधार पर होगा।

और पढ़ें:- कोविंद समिति के पास पहुंची भाजपा, ‘एक देश-एक चुनाव’ के पक्ष में दिए सुझाव

Tags: 2024 Loksabha Election2024 लोकसभा चुनावLoksabha ElectionsOne Nation One ElectionRamnath kovindएक राष्ट्र एक चुनावरामनाथ कोविन्दलोकसभा चुनाव
शेयरट्वीटभेजिए
पिछली पोस्ट

पेटीएम का अंतिम लेनदेन: भारत के फिनटेक क्षेत्र में एक युग का अंत

अगली पोस्ट

चुनाव आयोग ने जारी किया इलेक्टोरल बॉन्ड का डेटा

संबंधित पोस्ट

एटम बम के बाद अब हाइड्रोजन बम चलाएंगे राहुल गांधी, जानें कांग्रेस नेता ने क्यों कही ये बात
चर्चित

एटम बम के बाद अब हाइड्रोजन बम चलाएंगे राहुल गांधी, जानें कांग्रेस नेता ने क्यों कही ये बात

1 September 2025

कांग्रेस की ‘वोटर अधिकार यात्रा’ का समापन रविवार को पटना में रोड शो और जनसभा के साथ हुआ। 16 दिनों तक चली इस यात्रा में...

SCO समिट में मोदी की कूटनीति: भारत बना RIC का ‘पावर सेंटर’!
अर्थव्यवस्था

SCO समिट में मोदी की कूटनीति: भारत बना RIC का ‘पावर सेंटर’!

1 September 2025

तियानजिन (चीन) में हुए SCO समिट में जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन एक ही कार में सवार होकर मीटिंग स्थल...

भारत-रूस की अटूट दोस्ती: SCO समिट में मोदी–पुतिन की गूंज, दुनिया ने देखा भारत का बढ़ता कद
अर्थव्यवस्था

भारत-रूस की अटूट दोस्ती: SCO समिट में मोदी–पुतिन की गूंज, दुनिया ने देखा भारत का बढ़ता कद

1 September 2025

चीन के तियानजिन में शंघाई सहयोग संगठन SCO समिट का मंच गवाह बना उस पल का, जब दुनिया ने एक बार फिर भारत की कूटनीतिक...

और लोड करें

Leave a Reply Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

I agree to the Terms of use and Privacy Policy.
This site is protected by reCAPTCHA and the Google Privacy Policy and Terms of Service apply.

इस समय चल रहा है

Ganesha’s Empire Beyond Bharat: The Forgotten History of Sanatan Dharma in Asia

Ganesha’s Empire Beyond Bharat: The Forgotten History of Sanatan Dharma in Asia

00:07:16

The Truth Behind Infiltration, Political Appeasement, and the Battle for Identity.

00:06:28

USA’s Real Problem With India is Not Russian oil ! America’s Double Standard Exposed yet Again.

00:06:12

Why Experts Say US President Donald Trump’s Behavior Signals Something Serious?

00:07:25

The Myth of Mother Teresa: Peeling Back the Veil of a Manufactured Saint

00:07:13
फेसबुक एक्स (ट्विटर) इन्स्टाग्राम यूट्यूब
टीऍफ़आईपोस्टtfipost.in
हिंदी खबर - आज के मुख्य समाचार - Hindi Khabar News - Aaj ke Mukhya Samachar
  • About us
  • Careers
  • Brand Partnerships
  • उपयोग की शर्तें
  • निजता नीति
  • साइटमैप

©2025 TFI Media Private Limited

कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
TFIPOST English
TFIPOST Global

©2025 TFI Media Private Limited