TFIPOST English
TFIPOST Global
tfipost.in
tfipost.in
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
    • सभी
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
    Golden Temple Amritsar

    स्वर्ण मंदिर में लगे खालिस्तान जिंदाबाद के नारे, सिमरनजीत मान ने भिंडरावाले को बताया शहीद

    Lucknow Police Encounter

    लखनऊ में 3 साल की बच्ची से दरिंदगी, 24 घंटे में पुलिस ने एनकाउंटर में किया ढेर

    Mahua Moitra Pinaki Mishra

    65 के पिनाकी मिश्रा की हुईं 50 की महुआ मोइत्रा, गठबंधन पर क्यों हो रही इन विवादों की चर्चा?

    Sharmistha Panoli Calcutta High Court

    शर्मिष्ठा पनोली को जमानत के साथ हिदायत, कोर्ट रूम में क्या हुआ?

    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • सभी
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
    इस साल फरवरी से अब तक रेपो रेट में लगातार 100 आधार अंकों की कटौती की गई है

    RBI Repo Rate Cut: 50 बेसिस पॉइंट घटाया गया रेपो रेट, EMI में आएगा ये बदलाव

    6.5% GDP वृद्धि का अनुमान

    वित्त वर्ष 2026 में 6.5% GDP वृद्धि का अनुमान: घरेलू मांग में सुधार भारत की विकास रफ्तार का प्रमुख इंजन बन सकता है – क्रिसिल

    भारत ने रचा इतिहास, $4 ट्रिलियन की GDP के साथ बना दुनिया की चौथी बड़ी आर्थिक महाशक्ति

    भारत ने रचा इतिहास, $4 ट्रिलियन की GDP के साथ बना दुनिया की चौथी बड़ी आर्थिक महाशक्ति

    वैश्विक अस्थिरता के बीच मजबूत भारतीय अर्थव्यवस्था, वित्त वर्ष 2025 की चौथी तिमाही में GDP वृद्धि 6.5% तक पहुंचने की संभावना

    वैश्विक अस्थिरता के बीच मजबूत भारतीय अर्थव्यवस्था, वित्त वर्ष 2025 की चौथी तिमाही में GDP वृद्धि 6.5% तक पहुंचने की संभावना

    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • सभी
    • आयुध
    • रणनीति
    चीन कर रहा Bio War की तैयारी!, कितना तैयार है भारत?

    चीन कर रहा Bio War की तैयारी!, कितना तैयार है भारत?

    Air Chief Marshal Amarpreet Singh

    एयरचीफ मार्शल अमरप्रीत सिंह की चिंता जायज, जानिए क्यों समय से पूरे नहीं हो पाते रक्षा प्रोजेक्ट?

    2047 तक छह गुना बढ़ जाएगा भारत का रक्षा उत्पादन, ₹32 लाख करोड़ होगा डिफेंस बजट: रिपोर्ट

    2047 तक छह गुना बढ़ जाएगा भारत का रक्षा उत्पादन, ₹32 लाख करोड़ होगा डिफेंस बजट: रिपोर्ट

    Brahmos

    ब्रह्मोस को लेकर रूस के राजदूत का बड़ा दावा! भारत के साथ मिलकर बना रहे खतरनाक हथियार

    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • सभी
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
    ट्रंप बनाम मस्क

    ट्रंप बनाम मस्क: जानें इस हाई-प्रोफाइल ब्रेकअप का भारत पर क्या होगा असर!

    एपस्टीन के साथ मेलानिया और डोनाल्ड ट्रंप

    The Epstein files: घिनौना काम करने वाले ट्रंप के ‘दोस्त’ जेफ्री एपस्टीन के रहस्यमई अंत में छिपे हैं कौन से काले राज़?

    आइलैंड में लगभग सभी लैंडफिल साइट्स पूरी क्षमता पर पहुंच गई हैं (Photo - Canva)

    बाली की बड़ी पहल: पानी की छोटी बोतलें होंगी बैन, पर्यावरण को मिलेगी राहत

    Pakistan Ban Ahmadiyya Muslim Eid

    पाकिस्तान में अहमदिया मुस्लिमों के ईद मनाने पर पाबंदी, क्या है इनका इतिहास?

    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • सभी
    • इतिहास
    • संस्कृति
    ‘चतुः श्लोकी मनुस्मृति: एन इंग्लिश कमेन्ट्री’: मनुस्मृति को लेकर बौद्धिक उपनिवेशवाद के जाल से बाहर निकलने का साधन

    ‘चतुः श्लोकी मनुस्मृति: एन इंग्लिश कमेन्ट्री’: मनुस्मृति को लेकर बौद्धिक उपनिवेशवाद के जाल से बाहर निकलने का साधन

    संघ के दूसरे प्रमुख गोलवालकर और जवाहरलाल नेहरू

    नेहरू की निष्क्रियता से 1947 के बाद भी 14 वर्षों तक गुलाम रहा गोवा, RSS ने आज़ादी में निभाई अहम भूमिका

    1950 में जेल से रिहा किए जाने के बाद सावरकर (चित्र: savarkar.org)

    अंग्रेज़ों की ही नहीं, नेहरू सरकार की कैद में भी महीनों रहे थे सावरकर

    कंबोडिया के बंतेय श्री मंदिर के चौखट पर बैठे जवाहरलाल नेहरू, नवंबर 1954

    ‘महाभारत में बीफ परोसने का उल्लेख’: जानें हिंदुत्व, रामायण, महाभारत और गीता को लेकर क्या थी नेहरू की राय?

    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • सभी
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
    घड़े का पानी गले से लेकर आंतों के लिए अच्छा होता है: एक्सपर्ट

    गर्मियों में ‘अमृत’ के समान है घड़े का पानी; मिलते हैं ये फायदे

    अमेरिका में iPhone बनाना एक जटिल प्रक्रिया हो सकती है

    अमेरिका में बनने लगे iPhone तो क्या हो सकती है कीमत?

    Saudi Arabia AI Clinic

    क्या डॉक्टरों की जगह ले रहा है AI? सऊदी अरब में खुला पहला आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस क्लीनिक

    जो बाइडन को हुआ ‘तेज़ी से फैलने वाला’ प्रोस्टेट कैंसर; जानें क्या हैं इसके लक्षण और कैसे कर सकते हैं बचाव?

    जो बाइडन को हुआ ‘तेज़ी से फैलने वाला’ प्रोस्टेट कैंसर; जानें क्या हैं इसके लक्षण और कैसे कर सकते हैं बचाव?

    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
tfipost.in
  • राजनीति
    • सभी
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
    Golden Temple Amritsar

    स्वर्ण मंदिर में लगे खालिस्तान जिंदाबाद के नारे, सिमरनजीत मान ने भिंडरावाले को बताया शहीद

    Lucknow Police Encounter

    लखनऊ में 3 साल की बच्ची से दरिंदगी, 24 घंटे में पुलिस ने एनकाउंटर में किया ढेर

    Mahua Moitra Pinaki Mishra

    65 के पिनाकी मिश्रा की हुईं 50 की महुआ मोइत्रा, गठबंधन पर क्यों हो रही इन विवादों की चर्चा?

    Sharmistha Panoli Calcutta High Court

    शर्मिष्ठा पनोली को जमानत के साथ हिदायत, कोर्ट रूम में क्या हुआ?

    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • सभी
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
    इस साल फरवरी से अब तक रेपो रेट में लगातार 100 आधार अंकों की कटौती की गई है

    RBI Repo Rate Cut: 50 बेसिस पॉइंट घटाया गया रेपो रेट, EMI में आएगा ये बदलाव

    6.5% GDP वृद्धि का अनुमान

    वित्त वर्ष 2026 में 6.5% GDP वृद्धि का अनुमान: घरेलू मांग में सुधार भारत की विकास रफ्तार का प्रमुख इंजन बन सकता है – क्रिसिल

    भारत ने रचा इतिहास, $4 ट्रिलियन की GDP के साथ बना दुनिया की चौथी बड़ी आर्थिक महाशक्ति

    भारत ने रचा इतिहास, $4 ट्रिलियन की GDP के साथ बना दुनिया की चौथी बड़ी आर्थिक महाशक्ति

    वैश्विक अस्थिरता के बीच मजबूत भारतीय अर्थव्यवस्था, वित्त वर्ष 2025 की चौथी तिमाही में GDP वृद्धि 6.5% तक पहुंचने की संभावना

    वैश्विक अस्थिरता के बीच मजबूत भारतीय अर्थव्यवस्था, वित्त वर्ष 2025 की चौथी तिमाही में GDP वृद्धि 6.5% तक पहुंचने की संभावना

    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • सभी
    • आयुध
    • रणनीति
    चीन कर रहा Bio War की तैयारी!, कितना तैयार है भारत?

    चीन कर रहा Bio War की तैयारी!, कितना तैयार है भारत?

    Air Chief Marshal Amarpreet Singh

    एयरचीफ मार्शल अमरप्रीत सिंह की चिंता जायज, जानिए क्यों समय से पूरे नहीं हो पाते रक्षा प्रोजेक्ट?

    2047 तक छह गुना बढ़ जाएगा भारत का रक्षा उत्पादन, ₹32 लाख करोड़ होगा डिफेंस बजट: रिपोर्ट

    2047 तक छह गुना बढ़ जाएगा भारत का रक्षा उत्पादन, ₹32 लाख करोड़ होगा डिफेंस बजट: रिपोर्ट

    Brahmos

    ब्रह्मोस को लेकर रूस के राजदूत का बड़ा दावा! भारत के साथ मिलकर बना रहे खतरनाक हथियार

    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • सभी
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
    ट्रंप बनाम मस्क

    ट्रंप बनाम मस्क: जानें इस हाई-प्रोफाइल ब्रेकअप का भारत पर क्या होगा असर!

    एपस्टीन के साथ मेलानिया और डोनाल्ड ट्रंप

    The Epstein files: घिनौना काम करने वाले ट्रंप के ‘दोस्त’ जेफ्री एपस्टीन के रहस्यमई अंत में छिपे हैं कौन से काले राज़?

    आइलैंड में लगभग सभी लैंडफिल साइट्स पूरी क्षमता पर पहुंच गई हैं (Photo - Canva)

    बाली की बड़ी पहल: पानी की छोटी बोतलें होंगी बैन, पर्यावरण को मिलेगी राहत

    Pakistan Ban Ahmadiyya Muslim Eid

    पाकिस्तान में अहमदिया मुस्लिमों के ईद मनाने पर पाबंदी, क्या है इनका इतिहास?

    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • सभी
    • इतिहास
    • संस्कृति
    ‘चतुः श्लोकी मनुस्मृति: एन इंग्लिश कमेन्ट्री’: मनुस्मृति को लेकर बौद्धिक उपनिवेशवाद के जाल से बाहर निकलने का साधन

    ‘चतुः श्लोकी मनुस्मृति: एन इंग्लिश कमेन्ट्री’: मनुस्मृति को लेकर बौद्धिक उपनिवेशवाद के जाल से बाहर निकलने का साधन

    संघ के दूसरे प्रमुख गोलवालकर और जवाहरलाल नेहरू

    नेहरू की निष्क्रियता से 1947 के बाद भी 14 वर्षों तक गुलाम रहा गोवा, RSS ने आज़ादी में निभाई अहम भूमिका

    1950 में जेल से रिहा किए जाने के बाद सावरकर (चित्र: savarkar.org)

    अंग्रेज़ों की ही नहीं, नेहरू सरकार की कैद में भी महीनों रहे थे सावरकर

    कंबोडिया के बंतेय श्री मंदिर के चौखट पर बैठे जवाहरलाल नेहरू, नवंबर 1954

    ‘महाभारत में बीफ परोसने का उल्लेख’: जानें हिंदुत्व, रामायण, महाभारत और गीता को लेकर क्या थी नेहरू की राय?

    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • सभी
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
    घड़े का पानी गले से लेकर आंतों के लिए अच्छा होता है: एक्सपर्ट

    गर्मियों में ‘अमृत’ के समान है घड़े का पानी; मिलते हैं ये फायदे

    अमेरिका में iPhone बनाना एक जटिल प्रक्रिया हो सकती है

    अमेरिका में बनने लगे iPhone तो क्या हो सकती है कीमत?

    Saudi Arabia AI Clinic

    क्या डॉक्टरों की जगह ले रहा है AI? सऊदी अरब में खुला पहला आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस क्लीनिक

    जो बाइडन को हुआ ‘तेज़ी से फैलने वाला’ प्रोस्टेट कैंसर; जानें क्या हैं इसके लक्षण और कैसे कर सकते हैं बचाव?

    जो बाइडन को हुआ ‘तेज़ी से फैलने वाला’ प्रोस्टेट कैंसर; जानें क्या हैं इसके लक्षण और कैसे कर सकते हैं बचाव?

    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
tfipost.in
tfipost.in
कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
  • अर्थव्यवस्था
  • रक्षा
  • विश्व
  • ज्ञान
  • बैठक
  • प्रीमियम

ERP एक विरोधाभाषी Concept है जो धर्मों को अच्छी तरह परिभाषित तक नहीं करता

मद्रास उच्च न्यायालय के नए आदेश के अनुसार चर्च जाना या क्रॉस प्रदर्शित करना SC प्रमाणपत्र रद्द करने का आधार नहीं हो सकता!

Abhinav Kumar द्वारा Abhinav Kumar
9 October 2021
in समीक्षा
अनुसूचित जाति समुदाय प्रमाण पत्र

साभार: barandbench

Share on FacebookShare on X

क्या किसी दलित द्वारा प्रदर्शित ‘होली क्रॉस’ और अन्य धार्मिक प्रतीकों तथा प्रथाओं को उसके अनुसूचित जाति समुदाय प्रमाण पत्र को रद्द करने के लिए उद्धृत किया जा सकता है? नहीं, मद्रास उच्च न्यायालय ने अपने एक निर्णय में इसे नौकरशाही संकीर्णता बताया हैं, जिसे संविधान ने कभी नहीं देखा था।

मुख्य न्यायाधीश संजीव बनर्जी और न्यायमूर्ति एम दुरईस्वामी की एकल पीठ ने कहा- “केवल इसलिए कि दलित समुदाय के एक सदस्य ने एक ईसाई से शादी की और उसके बच्चों को ईसाई के रूप में मान्यता दी गई है, उसे जारी किया गया अनुसूचित जाति समुदाय प्रमाण पत्र रद्द नहीं किया जा सकता है।“

संबंधितपोस्ट

बांग्लादेश में बदले सियासी संकेत – नए नोटों से ‘राष्ट्रपिता’ मुजीब गायब, मंदिरों और सांस्कृतिक प्रतीकों ने ली जगह

कभी हिन्दुओं को बताया था तालिबानी आज सुनवाई के दौरान राजीव धवन ने कहा- हिंदू धर्म के लिए मंदिर अनिवार्य नहीं

स्वयं को अत्यधिक संयमित और आदर्श दिखाना कभी-कभी कायरता भी हो जाती है: पहलगाम नरसंहार की पृष्ठभूमि में भारत की नीति का पुनर्विचार

और लोड करें

अदालत ने 2016 में रामनाथपुरम जिले की पी मुनीस्वरी द्वारा दायर एक याचिका को अनुमति देते हुए यह टिप्पणी की। पी मुनीस्वरी ने अपनी याचिका में जिला कलेक्टर द्वारा उनके सामुदायिक प्रमाण पत्र को रद्द करने के 2013 के आदेश को शून्य करने की मांग की थी। पी मुनीस्वरी पेशे से एक डॉक्टर है। वह हिंदू माता-पिता से पैदा हुई थी और कानून के अनुसार अनुसूचित जाति से संबन्धित थी। फिर उन्होंने एक ईसाई से शादी की और अपने बच्चों को भी ईसाई समुदाय के सदस्यों के रूप में पाला।

इसी का हवाला देते हुए उनका अनुसूचित जाति प्रमाणपत्र रद्द कर दिया गया। जब उन्होंने अदालत में फैसले को चुनौती दी तो अधिकारियों ने कहा कि उन्होंने उसके क्लिनिक का दौरा किया और दीवार पर एक ‘क्रॉस‘ लटका हुआ पाया। इस आधार पर, अधिकारियों ने अनुमान लगाया कि वह ईसाई धर्म में परिवर्तित हो गई थी और इस प्रकार हिंदू समुदाय प्रमाण पत्र को बनाए रखने के लिए अयोग्य घोषित कर दिया गया था।

और पढ़ें: नरेंद्र मोदी के 20 साल बेमिसाल

तर्क को खारिज करते हुए एकल पीठ ने कहा: “हलफनामे में कोई सुझाव नहीं है कि उसने अपना विश्वास त्याग दिया है या उसने ईसाई धर्म अपनाया है। यह समान रूप से संभव है कि वह, एक परिवार के एक हिस्से के रूप में, अपने पति और बच्चों के साथ हो सकती है। संडे मैटिंस के लिए अगर एक व्यक्ति चर्च जाता है, तो इसका मतलब यह नहीं है कि ऐसे व्यक्ति ने उस मूल विश्वास को पूरी तरह से त्याग दिया है जिसके लिए वह पैदा हुआ था।”

न्यायाधीशों ने आगे कहा: “अधिकारियों के कार्य और आचरण एक हद तक संकीर्णता को दर्शाते हैं जिसे संविधान प्रोत्साहित नहीं करता है।” उन्होंने कहा कि जांच समिति के सदस्यों के लिए यह अच्छा होगा कि वे इस मामले को व्यापक दिमाग से देखें।

और पढ़ें: ताइवान की कंपनी ACER आ रही है भारत 

यह देखते हुए कि अधिकारियों द्वारा की गई कार्रवाई मनमानी प्रतीत होती है और बिना किसी भौतिक तथ्य के समर्थन के अनुमानों और अनुमानों के आधार पर, न्यायाधीशों ने जिला कलेक्टर द्वारा पारित आदेश को रद्द कर दिया और अधिकारियों को मूल रूप से मुनीस्वरी के पक्ष में जारी अनुसूचित जाति समुदाय प्रमाण पत्र को बहाल करने का निर्देश दिया।

मद्रास हाइकोर्ट का यह फैसला क्यों त्रुटिपूर्ण है?  

धर्म अपरिभषेय है। कुछ लोग इसे स्वभाव, कुछ लोग कर्म तो कुछ इसे साधना पद्दती के आधार पर परिभाषित करते है। अतः एक धर्म के आवर्तों, पद्दतियों और उसकी परिधियों में सर्वदा विरोधाभास रहें है। यह विरोधाभास राजनीतिक, सामाजिक और न्यायिक निर्णयों में भी परिलक्षित होते है। न्यायिक निर्णय राष्ट्र के विधि समतुल्य होते हैं। समाज पर इनके परिणाम अत्यंत दूरगामी होते हैं। गोपालन केस के कालिख को मिटाते-मिटाते न्यायिक व्यवस्था को किस प्रकार मेनका गांधी केस तक जाना पड़ा इससे हम सभी अवगत हैं। खैर, मुख्य न्यायाधीश संजीव बनर्जी और न्यायमूर्ति एम दुरईस्वामी पीठ के इस फैसले ने भी धर्म, आरक्षण और धार्मिक प्रतिचिन्हों के मामले में कई अंधकार क्षेत्र का सृजन कर दिया है। ऐसे समय में जब सर्वोच्च न्यायालय ने पदोन्नति में आरक्षण को अनंत काल तक बनाए रखने से परहेज करने का आख्यान दिया है, मद्रास हाइ कोर्ट का यह निर्णय धार्मिक स्वतंत्रता की आड़ लेकर धर्मांतरण और अनुचित आरक्षण को बढ़ावा देता दिख रहा है। हमारे संविधान में अनुच्छेद 26 के तहत धार्मिक स्वतन्त्रता प्रदान की गयी है। संविधान और न्यायालय ने समय-समय पर धार्मिक स्वतन्त्रता की सीमा भी तय की है जिससे धर्मांतरण और धर्म के नाम पर अनुचित कार्य रुका है। अतः अब नए किस्म का धर्मांतरण मॉडल राष्ट्रीय परिदृश्य पर उभर आया है। इस तरह के विकृत धार्मिक परिवर्तन को हमने पंजाब के परिपेक्ष्य में देख रखा है। जहां मुख्यमंत्री चन्नी के दलित सिख होने पर संदेह और संभावित ईसाई होने का अंदेशा अधिक है। परंतु, अपने स्वार्थ हेतु उन्होंने दलित चोगा ओढ़ रखा है। ठीक इसी प्रकार आरक्षण के स्वार्थ हेतु इस मामले में भी पी मुनीस्वरी ने दलित चोगा ओढ़ लिया है। कोर्ट के इस फैसले से कुछ प्रमुख प्रश्न उभर आए है जो निम्न है:-

  • प्रथम, अगर किसी हिन्दू व्यक्ति ने गैर धर्म में विवाह किया, उसका विवाह हिन्दू विवाह अधिनियम, 1955 से पंजीकृत न हो कर विशेष विवाह अधिनियम,1954 या अन्य अधिनियम के माध्यम से पंजीकृत होगा तब, ऐसे व्यक्ति या दंपति को अनुसूचित जाति का आरक्षण प्रदान करना कितना न्यायोचित है?
  • द्वितीय, अगर रविवार को निरंतर चर्च जाना, क्रॉस लटकाना अगर इसाइयत की निशानी नहीं है तो फिर क्या है?
  • तृतीया, धार्मिक पहचान को लेकर भविष्य में कानूनी विसंगतियाँ न हो इसके लिए कोर्ट ने क्या उपाय किए हैं?
  • चौथा, अगर अन्य धर्म में विवाह के पश्चात भी उनकी आरक्षण सुविधा बरकरार रखी गयी तो क्या ये अवैध धर्मांतरण को बढ़ावा नहीं देगा?
  • पांचवा, एक पितृसत्तात्म समाज में जहां बच्चे की सामाजिक, शैक्षणिक और धार्मिक पहचान मुख्यतः अपने पिता पर टिकी है, वहाँ इस बात पर विश्वास करने के क्या आधार है कि उन्होंने धर्म का त्याग नहीं किया है?

धर्म के आवश्यक तत्वों को परिभाषित करने के लिए, भारत के सर्वोच्च न्यायालय ने “धर्म के आवश्यक तत्व” यानी EPR सिद्धांत को निर्धारित किया। आयुक्त, हिंदू धार्मिक बंदोबस्ती, मद्रास बनाम श्री शिरूर मठ मामले में, धर्म से संबंधित मामलों के अंतर्गत क्या हैं और क्या नहीं इसके बीच एक रेखा खींची गई थी। यह निर्धारित किया गया था कि धार्मिक मत और उन मतों के अनुसरण में किए गए कार्य धार्मिक प्रथाएं हैं। इसका तात्पर्य यह है कि सर्वोच्च न्यायालय ने कहा है कि अनुष्ठान, पूजा के तरीके और समारोह सभी धर्म की आवश्यक प्रथाओं के अंतर्गत आते हैं। इन्हें इस हद तक संरक्षित किया जाना चाहिए कि वे भारत के संविधान के अनुच्छेद 25 और 26 की सीमाओं के भीतर हों।

निष्कर्ष

कोर्ट को यह समझना चाहिए कि कानून की विसंगतियाँ अवहेलना को जन्म देंगी। धर्म आपके जन्म से लेकर मृत्यु तक जीवन का अभिन्न अंग है। यह जीवन शैली है। धार्मिक परम्पराओं और मान्यताओं से हमारा जीवन भावनात्मक स्तर पर जुड़ा है। लोग अन्य धर्म में विवाह हेतु स्वतंत्र है। लोग धर्म परिवर्तन और धर्म से परे प्रेम करने में भी सक्षम और स्वतंत्र है। परंतु, इतना सामर्थ्य तो होना ही चाहिए कि कम से कम अगर एक डॉक्टर लड़की अन्य धर्म में विवाह करे तो आरक्षण और अन्य सुविधाओं का त्याग कर दे। अगर न भी करे तो न्यायलाय को इस बारे में मार्गदर्शन करना चाहिए। यह फैसला न्यायालय की दूरदृष्टि को परिलक्षित नहीं करता। 

Tags: ईसाईधर्मधर्मांतरणहिन्दू
शेयरट्वीटभेजिए
पिछली पोस्ट

“स्टॉकहोम सिंड्रोम” पर अवधेश मिश्रा की ‘जुगनू’ नामक एक शानदार भोजपुरी फिल्म आ रही है

अगली पोस्ट

किंगफिशर ने माल्या को और जेट एयरवेज ने नरेश गोयल को बर्बाद किया, क्या एयर इंडिया भी TATA के साथ ऐसा कर सकती है?

संबंधित पोस्ट

शपथ से विश्वासघात: जनप्रतिनिधियों द्वारा राष्ट्रीय एकता को कमजोर करने की खतरनाक प्रवृत्ति
समीक्षा

शपथ से विश्वासघात: जनप्रतिनिधियों द्वारा राष्ट्रीय एकता को कमजोर करने की खतरनाक प्रवृत्ति

5 June 2025

शपथ एक गंभीर वादा है कि जनप्रतिनिधि भारत की संप्रभुता और संवैधानिक मूल्यों की रक्षा करेंगे। जब ये प्रतिनिधि इस शपथ का उल्लंघन करते हैं—सरकारी...

विराट कोहली और कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया
समीक्षा

RCB के जश्न में हुई भगदड़ में 11 लोगों की मौत का ज़िम्मेदार कौन?

5 June 2025

बीते 3 जून को अहमदाबाद में रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु (RCB) ने पंजाब किंग्स (PBKS) को 6 रनों से हराकर अपना पहला IPL खिताब जीता था,...

‘चतुः श्लोकी मनुस्मृति: एन इंग्लिश कमेन्ट्री’: मनुस्मृति को लेकर बौद्धिक उपनिवेशवाद के जाल से बाहर निकलने का साधन
ज्ञान

‘चतुः श्लोकी मनुस्मृति: एन इंग्लिश कमेन्ट्री’: मनुस्मृति को लेकर बौद्धिक उपनिवेशवाद के जाल से बाहर निकलने का साधन

3 June 2025

मैं जब छठी कक्षा में पढ़ता था तब एक श्लोक पढ़ा था: अभिवादन शीलस्य, नित्यं वृद्धोपसेविनः। चत्वारि तस्य वर्धन्ते, आयुर्विद्या यशो बलम्।। भावार्थ: जो सदैव...

और लोड करें

Leave a Reply Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

I agree to the Terms of use and Privacy Policy.
This site is protected by reCAPTCHA and the Google Privacy Policy and Terms of Service apply.

इस समय चल रहा है

Pakistan needs money from IMF to feed their people

Pakistan needs money from IMF to feed their people

00:15:20

Vacate PoK and more: Steps Pakistan needs to take to avoid Indian military action

00:06:36

Taking The Wire’s Propaganda Piece on VP to the Cleaners – Feat. Prof. Kapil Kumar

00:09:19

Rahul Gandhi Undermines India’s Electoral Integrity as Trump Applauds It

00:07:09

Why Pakistan army chief reminds two nation theory| what is the plan| Waqf Bill |Asim Munir| Jinnah

00:13:02
फेसबुक एक्स (ट्विटर) इन्स्टाग्राम यूट्यूब
टीऍफ़आईपोस्टtfipost.in
हिंदी खबर - आज के मुख्य समाचार - Hindi Khabar News - Aaj ke Mukhya Samachar
  • About us
  • Careers
  • Brand Partnerships
  • उपयोग की शर्तें
  • निजता नीति
  • साइटमैप

©2025 TFI Media Private Limited

कोई परिणाम नहीं मिला
सभी परिणाम देखें
  • राजनीति
    • चर्चित
    • मत
    • समीक्षा
  • अर्थव्यवस्था
    • वाणिज्य
    • व्यवसाय
  • रक्षा
    • आयुध
    • रणनीति
  • विश्व
    • अफ्रीका
    • अमेरिकाज़
    • एशिया पैसिफिक
    • यूरोप
    • वेस्ट एशिया
    • साउथ एशिया
  • ज्ञान
    • इतिहास
    • संस्कृति
  • बैठक
    • खेल
    • चलचित्र
    • तकनीक
    • भोजन
    • व्यंग
    • स्वास्थ्य
  • प्रीमियम
TFIPOST English
TFIPOST Global

©2025 TFI Media Private Limited